घोटाले के बाद ई-टेण्डरिंग निजी हाथों से छीनकर एनआईसी को सौंपी

the state government given the work of e-tendering to National Informatics Center
घोटाले के बाद ई-टेण्डरिंग निजी हाथों से छीनकर एनआईसी को सौंपी
घोटाले के बाद ई-टेण्डरिंग निजी हाथों से छीनकर एनआईसी को सौंपी

डिजिटल डेस्क, भोपाल। बहुचर्चित ई-टेण्डर घोटाले के बाद राज्य सरकार ने शुचिता स्थापित करने के लिये ई-टेण्डरिंग का काम निजी हाथों से छीनकर भारत सरकार के नेशनल इन्फारमेटिक्स सेंटर यानि एनआईसी को दे दिया है। एनआईसी ने नया पोर्टल एमपी टेण्डर्स डाट जीओवी डाट इन तैयार कर प्रारंभ कर दिया है तथा अभी इसमें टेण्डर डालने वालों का पंजीयन किया जा रहा है और 12 दिसम्बर से पोर्टल पर राज्य सरकार के दो लाख रुपयों से अधिक राशि वाले सभी टेण्डर डलने लगेंगे। इस नये पोर्टल पर निविदाकर्ताओं को टेण्डर में आनलाईन भाग लेने के लिये अनिवार्य रुप से पंजीकरण कराना होगा। प्रथम वर्ष के लिये पंजीयन शुल्क 500 रुपये होगा तथा इसके बाद नवीनीकरण शुल्क सौ रुपये प्रति वर्ष होगा। पंजीयन एवं नवीनीकरण शुल्क का भुगतान नेट बैंकिंग के माध्यम से ही किया जा सकेगा। जो निविदाकर्ता लोक निर्माण विभाग में पंजीकृत हैं, उन्हें भी एनआईसी के इस नये पोर्टल पर अपना रजिस्ट्रेशन कराना होगा। 

एनआईसी के इस नये ई-टेण्डरिंग पोर्टल पर सभी लेन-देन इलेक्ट्रानिक माध्यम से ही होंगे। इसके लिये हिन्दुजा ग्रुप के निजी बैंक इण्डस्इंड बैंक का चयन किया गया है। यह बैंक ई-टेण्डरिंग व्यवस्था में होने वाले आनलाईन लेन-देन की सुविधा नि:शुल्क उपलब्ध करायेगा। इस नई ई-टेण्डरिंग व्यवस्था के क्रियान्वयन के लिये राज्य सरकार का उपक्रम इलेक्ट्रानिक विकास निगम द्वारा इंडस्इंड बैंक में दो खाते खोले जायेंगे। इनमें एक खाता ऐसे समस्त विभागों के लिये होगा जिन्हें कोषालय के माध्यम से लेन-देन करना अनिवार्य है एवं दूसरा खाता सार्वजनिक उपक्रमों के लिये होगा जिनके लेन-देन बैंकों के माध्यम से किये जाते हैं। एनआईसी के इस नये पोर्टल पर इलेक्ट्रानिक ईएमडी जमा कराने की सुविधा भी उपलब्ध रहेगी।  राज्य सरकार ने ई-टेण्डरिंग के पुराने पोर्टल पर नवीन निविदाओं के आमंत्रण की सेवायें बंद कर दी गई हैं। सभी विभागों से कहा गया है कि वे पुराने पोर्टल पर अपूर्ण निविदाओं की कार्यवाही पूर्ण कराये अथवा अंतिम रुप से बंद करना सुनिश्चित करें। भविष्य में जारी की जाने वाली समस्त निविदायें एनआईसी द्वारा विकसित नये पोर्टल पर ही डाली जायें। 

इनका कहना है
ई-टेण्डरिंग का पुराना पोर्टल बंद कर भारत सरकार के एनआईसी के माध्यम से नया पोर्टल प्रारंभ किया गया है। अभी इसमें निविदाकर्ताओं  का पंजीयन किया जा रहा है तथा 12 दिसम्बर से इसमें शासकीय टेण्डर डलना प्रारंभ कर दिये जायेंगे। - नंदकिशार ब्रह्मे, नोडल आफिसर, एमपी इलेक्ट्रानिक विकास निगम

Created On :   9 Dec 2018 1:34 PM IST

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