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विदर्भ-मराठवाडा की अदालतों में बिजली जाने से हो रही परेशानी

डिजिटल डेस्क, मुंबई। बॉम्बे हाईकोर्ट ने राज्य के विधि व न्याय विभाग को प्रदेश के ग्रामीण इलाकों में स्थित कोर्ट कॉम्प्लेक्स में बिजली जाने की समस्या का समाधान कर अदालतों को अबाधित बिजली आपूर्ति सुनिश्चित करने को कहा है। इससे पहले अधिवक्ता उदय वारुनजेकर ने कहा कि विदर्भ व मराठवाडा इलाकों में स्थित निचली अदालतों में बिजली की परेशानी है। अचानक बिजली जाने से खास तौर से तहसील मुख्यालयोंपर स्थित कोर्ट का कामकाज प्रभावित होता है। इसलिए ग्रामीण इलाकों में जिला व तहसील मुख्यालयोंपर स्थित अदालतों में अबाधित बिजली की आपूर्ति सुनिश्चित की जाए। हाईकोर्ट में मुंबई ग्राहक पंचायत की ओर से दायर जनहित याचिका पर सुनवाई चल रही है।
सुनवाई के दौरान अधिवक्ता वारुनजेकर मुख्य न्यायाधीश दीपांकर दत्ता व न्यायमूर्ति विनय जोशी की खंडपीठ को कोर्ट परिसर में पीने के पानी की सुविधा न होने व कोर्ट के अस्वछ शौचालयो की भी जानकारी दी। इस पर खंडपीठ ने विधि व न्याय विभाग के प्रधान सचिव को एक बैठक बुलाकर उचित कदम उठाने को कहा। इस दौरान खंडपीठ को बताया गया कि राज्य सरकार की ओर पारित किए जाने वाले कानून व जारी किए जाने वाले नियमों को सरकारी वेबसाइट में उपलब्ध कराने का काम भी अब तक पूरा नहीं हो पाया है। जबकि साल 2017 में इस बारे में आदेश जारी किया गया था। इस कार्य के लिए भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान(आईआईटी) मुंबई को संबंधित विभाग के साथ मिलकर सॉफ्टवेयर तैयार करने के लिए कहा गया था। लेकिन अब तक सॉफ्टवेयर तैयार नहीं हुआ है। इस बात को जानने के बाद खंडपीठ ने आईआईटी को शीघ्रता से इस काम को पूरा करने को कहा और अगली सुनवाई के दौरान राज्य के विधि व न्याय विभाग को इस बारे में रिपोर्ट देने का निर्देश दिया। खंडपीठ ने अब इस याचिका पर सुनवाई 18 अप्रैल 2022 को रखी है।
Created On :   12 March 2022 6:58 PM IST