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लेटलतीफी के कारण 117 करोड़ तक बढ़ी वैगन फैक्टरी की लागत

डिजिटल डेस्क, अमरावती। शहर के नागरिकों को स्थानीय स्तर पर रोजगार उपलब्ध कराने की सोच और जिले के सर्वांगीण विकास के उद्देश्य से वर्ष 2015 में रेलवे वैगन कारखाने की आधारशिला रखी गई थी। जिसे 2018 में बनकर तैयार होना था। 350 करोड़ की लागत से निर्माण होने वाले इस कारखाने का काम चार वर्ष की देरी से चल रहा है। जिसके कारण अब इसकी लागत बढ़कर 117 करोड़ रुपए हो गई है।
विशेष बात यह है कि वर्ष 2020 में भुसावल मंडल के डीआरएम अधिकारी वैगन कारखाने के निरीक्षण को पहंुचे थे। उस वक्त अभियंताओं द्वारा उन्हें दी गई जानकारी के दौरान कहा गया था कि जुलाई 2021 में यहां आंशिक रूप से बोगियों की मरम्मत का कार्य शुरू किया जाएगा। साथ ही यह घोषणा भी की गई थी कि कोरोना के कारण लगे प्रतिबंधों का वैगन कारखाने की गति पर कोई असर नहीं पड़ेगा।
मंडल की ओर से बजट से पूर्व केंद्रीय रेल मंत्रालय को पत्र िलखकर वैगन कारखाने के लिए 80 करोड़ रुपए की निधि अतिरिक्त तौर पर उपलब्ध कराने की मांग की गई थी। किंतु बजट के बाद भुसावल मंडल से मिली जानकारी के अनुसार केंद्र सरकार ने बजट में अमरावती विभाग के लिए निधि का कोई प्रावधान नहीं किया है। जबकि निर्माणकार्य की लागत बढ़ने से आगे संबंधित ठेकेदारों को बिलों का भुगतान कर पाना भी मुश्किल हो गया है।
Created On :   7 Feb 2022 12:54 PM IST