US बैन का असर, अब ईरानी तेल का रुपए में पेमेंट करेगा भारत

US बैन का असर, अब ईरानी तेल का रुपए में पेमेंट करेगा भारत

Bhaskar Hindi
Update: 2018-12-06 14:08 GMT
US बैन का असर, अब ईरानी तेल का रुपए में पेमेंट करेगा भारत
हाईलाइट
  • रुपये में तेल का भुगतान करने के लिए 2 नवंबर 2018 को भारतीय और ईरानी सरकार ने एक समझौते पर हस्ताक्षर किए थे।
  • अमेरिका का प्रतिबंध झेल रहे ईरान से कच्चा तेल आयात करने के लिए भारत अब रुपी बेस्ड पेमेंट मेकेनिज्म का उपयोग करेगा।
  • भारत सरकार के स्वामित्व वाला यूको बैंक अगले 10 दिनों में इस पेमेंट मेकेनिज्म की घोषणा कर सकता है।

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। अमेरिका का प्रतिबंध झेल रहे ईरान से कच्चा तेल आयात करने के लिए भारत अब रुपए बेस्ड पेमेंट मेकेनिज्म का उपयोग करेगा। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक उन पेमेंट्स का 50 प्रतिशत उपयोग तेहरान को वस्तुओं के निर्यात के लिए किया जाएगा। भारत सरकार के स्वामित्व वाला यूको बैंक अगले 10 दिनों में इस पेमेंट मेकेनिज्म की घोषणा कर सकता है।

मीडिया रिपोर्ट्स में भारत सरकार के दस्तावेजों के आधार पर कहा गया है कि रुपये में तेल का भुगतान करने के लिए 2 नवंबर 2018 को भारतीय और ईरानी सरकार ने एक समझौते पर हस्ताक्षर किए थे। अब तक भारत अपने तीसरे सबसे बड़े तेल आपूर्तिकर्ता देश को यूरोपियन बैंकिंग चैनलों के जरिए यूरो में भुगतान करता था। अमेरिकी प्रतिबंध लागू होने के बाद अब ये चैनल नवंबर से ब्लॉक कर दिया गया है।

बता दें कि ईरान पर अमेरिकी प्रतिबंध का दूसरा चरण 5 नवंबर से लागू हो चुका है। हालांकि, प्रतिबंध के लागू होते ही अमेरिका ने 8 देशों को अस्थायी रूप से ईरानी तेल खरीदी जारी रखने की अनुमति दी है। इन आठ देशों में चीन, भारत, ग्रीस, इटली, ताइवान, जापान, तुर्की और दक्षिण कोरिया है। आठ देशों को छूट देते हुए अमेरिका के स्टेट सेक्रेटरी माइक पोम्पियो ने कहा था कि 20 से ज्यादा देशों ने पहले से ही ईरान से अपने तेल आयात में कटौती की है, जिससे प्रति दिन 1 मिलियन से अधिक बैरल खरीददारी कम हो गई है।

जुलाई 2015 में ईरान का अमेरिका समेत दुनिया की 6 बड़ी ताकतों के साथ परमाणु समझौता हुआ था, जिसे जॉइंट कॉम्प्रिहेंसिव प्लान ऑफ ऐक्शन (JCPOA) नाम से जाना जाता है। कुछ समय पहले अमेरिका के प्रेसिडेंट डोनाल्ड ट्रंप ने ईरान समझौते को गलतियों से भरा बताते हुए इस तोड़ दिया था और उस पर कड़े प्रतिबंध लगाने का ऐलान किया था। ट्रंप ने दावा किया था कि ईरान उसे मिल रही परमाणु सामग्री का इस्तेमाल हथियार बनाने में कर रहा है।

यहां हम आपको ये भी बता दें कि इराक और सऊदी अरब के बाद ईरान, भारत का तीसरा सबसे बड़ा तेल आपूर्तिकर्ता है। अप्रैल 2017 से जनवरी 2018 तक ईरान ने भारत को 1.84 करोड़ टन कच्चे तेल की आपूर्ति की है। भारत ने इसी साल ईरान से तेल आयात बढ़ाने का फैसला किया था जब ईरान ने भारत को करीब-करीब मुफ्त ढुलाई और उधारी की मियाद बढ़ाने का ऑफर दिया था। 
 

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