अटलजी की भांजी अनिता पांडे ने कहा-घर में सिर्फ पारिवारिक बातें ही पसंद करते थे

अटलजी की भांजी अनिता पांडे ने कहा-घर में सिर्फ पारिवारिक बातें ही पसंद करते थे

Anita Peddulwar
Update: 2018-08-17 06:31 GMT
अटलजी की भांजी अनिता पांडे ने कहा-घर में सिर्फ पारिवारिक बातें ही पसंद करते थे

डिजिटल डेस्क, नागपुर। पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की भांजी खामला निवासी अनिता पांडे ने अटलजी के निधन पर दु:ख व्यक्त किया। स्मृतियों को ताजा करते हुए बताया कि शादी के बाद मायके से परिवार वाले विदा करवाने आए थे। इसी बीच मुझे सरप्राइज देने विदाई के लिए वे अचानक नागपुर आ गए, लेकिन तब तक मैं ससुराल से निकल गई थी। यह बात हमेशा होती रहती थी। 

इशारा किया- अभी नहीं
घर में राजनीति की बातें करना पसंद नहीं करते थे। घर में सिर्फ पारिवारिक बातें करते थे। एक बार मैं भोपाल में अपने भाई अनूप मिश्रा के बंगले पर थी। उसी समय वहां उमा भारती आईं और राजनीतिक विषय पर बात करने के लिए पूछा। इसपर मामाजी (अटलजी) ने इशारा करके साफ इनकार कर दिया।

‘मूंग के बड़े’ थे पसंद
‘मूंग के बड़े’ उन्हें बहुत पसंद थे। जब भी आते उसी की फरमाइश करते। डॉक्टरों ने उन्हें ज्यादा तेल मिर्च मसाले वाले खाना खाने से मना किया था। मां उनके लिए अलग से खाना बनाती थी। खाना खाने बैठते तो चुटकी लेकर कहते -मेरी सब्जी का रंग फीका क्यों है, मुझे अपनी वाली सब्जी दे दो थोड़ा।

प्रधानमंत्री थे तब भी आए
1996 में प्रधानमंत्री रहते हुए वह घर पर आए तो उसके पहले पुलिस ने पूरा घर घेर लिया और जांच की। पूरा हाल भर गया। मिलने वालों की भीड़ लग गई। जब नहीं आ पाते थे, तो फोन कर अपने पास एयरपोर्ट या रजनी राय के घर पर बुला लेते थे। घुटने का ऑपरेशन होने के बाद वह बोले कि गुड्डी तुम्हारे घर आने के लिए सीढ़ी चढ़नी पड़ती हैं, अब मुझसे ऊपर चढ़ना नहीं हो पाता है, तुम ही मिलने आ जाओ। राखी पर वह कभी नहीं चुकते थे, या तो खुद आते थे या फिर मां उनके पास जाती थीं।

25 दिसंबर को हर  बार दिल्ली जाते थे
मामाजी के जन्मदिन पर (25 दिसंबर) पिछले करीब 10 साल से हर बार उनसे मिलने जाते थे। कुछ समय से वह बेड पर थे और बोलते नहीं थे, लेकिन आखिरी बार जब हम गए तो उन्हें बताया गया कि अनिता आई है तो उन्होंने आंखों से इशारा किया। हालांकि पिछली बार जब गए तो उनका मुंह खुला हुआ था और वह सांस ले रहे थे। इस बार जाना था, लेकिन ये दु:खद खबर आ गई। वह मेरे पति और मुझसे विशेष स्नेह करते थे। उनके अस्वस्थ होने की खबर मिलते ही 12 अगस्त को मेरे पति ओमप्रकाश पांडे दिल्ली चले गए थे, वह अभी वहीं हैं।
 

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