कांग्रेस ने कहा- महाराष्ट्र में शिवसेना के साथ रणनीतिक गठबंधन, विचारधारा छोड़ने नहीं कह सकते

कांग्रेस ने कहा- महाराष्ट्र में शिवसेना के साथ रणनीतिक गठबंधन, विचारधारा छोड़ने नहीं कह सकते

Tejinder Singh
Update: 2019-12-11 11:50 GMT
कांग्रेस ने कहा- महाराष्ट्र में शिवसेना के साथ रणनीतिक गठबंधन, विचारधारा छोड़ने नहीं कह सकते

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। नागरिकता विधेयक पर शिवसेना के बदलते रूख के बीच कांग्रेस को उम्मीद है कि राज्यसभा में शिवसेना इस विधेयक के विरोध में वोट करेगी। हालांकि लोकसभा में इस बिल के पक्ष में रहने वाली शिवसेना को लेकर कांग्रेस ने साफ किया है कि महाराष्ट्र में कांग्रेस और शिवसेना के बीच रणनीतिक गठबंधन है। दोनों दलों की विचारधारा अलग-अलग है। कांग्रेस के वरिष्ठ प्रवक्ता मनीष तिवारी ने नागरिकता विधेयक को गैर संवैधानिक बताते हुए कहा कि लोकसभा में शिवसेना ने भले ही इस विधेयक के पक्ष में खड़ी रही, लेकिन अब उसका मन भी बदल रहा है। शिवसेना यदि राज्यसभा में इस विधेयक के विरोध में वोट करती है तो कांग्रेस उसका स्वागत करेगी।

तिवारी ने शिवसेना को लेकर पूछे गए एक सवाल के जवाब में कहा कि महाराष्ट्र में एक विचित्र परिस्थिति उत्पन्न हुई थी, जिसके बाद शिवसेना, राकांपा और कांग्रेस का गठबंधन बनाकर उस शून्य को भरा गया है। प्रदेश में आर्थिक संकट है तो वहां के किसानों के सामने परिस्थिति एकदम प्रतिकूल है। ऐसे हालात में हमारा गठबंधन बना। लेकिन इसका मतलब यह नहीं कि शिवसेना और कांग्रेस की विचारधारा एक हो गई है। शिवसेना ने भी यह कभी नहीं कहा कि उसने अपनी विचारधारा छोड़ दी है और ऐसा कहना उचित भी नहीं होगा। उन्होने कहा कि बावजूद इसके यदि शिवसेना राज्यसभा में इस विधेयक पर अपना मन बदलती है तो हम इसका स्वागत करेंगे।

 

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