कोरोना संदिग्ध को 108 एंबुलेंस में ले जाने से किया मना, विवाद चलता रहा तभी हो गई मौत

कोरोना संदिग्ध को 108 एंबुलेंस में ले जाने से किया मना, विवाद चलता रहा तभी हो गई मौत

Bhaskar Hindi
Update: 2021-04-07 12:16 GMT
कोरोना संदिग्ध को 108 एंबुलेंस में ले जाने से किया मना, विवाद चलता रहा तभी हो गई मौत

नगर के बीच से खुले टै्रक्टर में ले जाया गया शव
डिजिटल डेस्क चौरई।
 नगर से लगे नवेगांव में एक गंभीर कोरोना संदेही को लेने पहुंची 108 एम्बुलेंस ने अस्पताल पहुंचाने से मना कर दिया। इस बात को लेकर मरीज के परिजन व अन्य लोगों में विवाद शुरू हो गया, इसी बीच गंभीर मरीज ने दम तोड़ दिया। नवेगांव में एक 55 साल के व्यक्ति को कोरोना संदिग्ध होने पर परिजनों ने पंचायत सचिव को सूचना दी। सचिव को सूचना देने के घंटों बाद पहुंची 108 एम्बुलेंस के कर्मचारियों ने कोरोना संदिग्ध होने पर मरीज को बैठाने से इंकार कर दिया। जबकि मरीज सांस लेने में समस्या की वजह से तड़प रहा था। एम्बुलेंस के कर्मचारियों से लगभग एक से डेढ़ घंटे तक मरीज के परिजनों ने मिन्नतें की लेकिन उन्होंने मरीज को ले जाने से साफ इनकार कर दिया। इसी दौरान मरीज ने दम तोड़ दिया है। इस मरीज की सीटी स्कैन रिपोर्ट में संक्रमण आया था। परिजनों ने उपचार के लिए क्षेत्र के जनप्रतिनिधियों से गुहार लगाई लेकिन मरीज को उपचार नहीं मिल सका। सचिव को सूचना देने के बाद भी लगभग 1 घंटे बाद एंबुलेंस पहुंची लेकिन कर्मचारियों ने मरीज को ले जाने से साफ मना कर दिया। इतना ही नहीं मौत की सूचना के बाद भी स्वास्थ्य महकमें को पहुंचने में कई घंटे लग गए।
नगर के बीच से खुले टै्रक्टर में ले गए शव
इधर इस मामले में प्रशासन की दूसरी बड़ी लापरवाही मृतक के अंतिम संस्कार को लेकर सामने आई। नगरपालिका के खुले ट्रैक्टर में संदिग्ध के शव को मोक्षधाम तक लाया गया। कोरोना संदिग्ध का शव ले जाने के लिए बाइपास मार्ग की जगह शव को नगर के मुख्य बाजार से होते हुए ले जाया गया। नगर के लोगों ने इसका विरोध जताते हुए कहा है कि इस तरह की लापरवाही से नगर भी संक्रमण की चपेट में आ सकता है।
इनका कहना है...
मृतक की रिपोर्ट हमारे पास नहीं थी, सीटी स्कैन के आधार पर वे संदिग्ध थे। एम्बुलेंस की लापरवाही को लेकर 108 के स्टाफ से जानकारी लें। हम जब तक पहुंचे, मरीज की मौत हो चुकी थी।
- डॉ नितिन, बीएमओ चौरई
 

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