बेटे का मेडिकल में एडमिशन के नाम पर डॉक्टर को लगाई 31 लाख की चपत

बेटे का मेडिकल में एडमिशन के नाम पर डॉक्टर को लगाई 31 लाख की चपत

Anita Peddulwar
Update: 2018-12-17 10:54 GMT
बेटे का मेडिकल में एडमिशन के नाम पर डॉक्टर को लगाई 31 लाख की चपत

डिजिटल डेस्क, नागपुर। मेडिकल कालेज में दाखिला कराने के नाम पर एक डॉक्टर को लाखों रुपए की चपत लगाए जाने का मामला उजागर हुआ है। अदालत के निर्देश पर पांचपावली थाने में चार लोगों के खिलाफ प्रकरण दर्ज किया गया है।  

बेटे को डॉक्टर बनाने दी मोटी रकम
मुंबई के पालघर जिला निवासी डॉक्टर महेंद्र कैकाडे के पुत्र उमेश को कक्षा 12वीं में 86 प्रतिशत अंक मिले थे। महेंद्र, पुत्र उमेश को भी डॉक्टर बनाना चाहते थे। वर्ष 2017 में किसी मेडिकल कालेज में पुत्र को दाखिला दिलाने के लिए उन्होंने अपने परिचित नागपुर, वैशाली नगर निवासी डॉक्टर बंडू देवारे से संपर्क किया। देवारे के जरिए ही डॉक्टर कैकाड़े का नागपुर पाटनकर चौक निवासी रॉबिन मेश्राम, केतन जांबुलकर, दिलीप चौबल और नाशिक निवासी स्नेहल पवार से संपर्क हुआ। इन लोगों ने 36 लाख 60 हजार रुपए में उमेश का दाखिला नाशिक के वसंतराव मेडिकल कॉलेज में करा देने की हामी भरी थी, मगर सौदा 36 लाख रुपए पर पक्का हुआ। पुत्र को डाॅक्टर बनाने का सपना पूरा करने के लिए डाॅक्टर कैकाड़े इतनी बड़ी रकम देने को तैयार हो गए। 28 अप्रैल से 31 अगस्त 2017 के बीच आरोपियों को उन्होंने 36 लाख रुपए किस्तों में दे दी, लेकिन उमेश का दाखिला किसी मेडिकल कालेज में नहीं हुआ। पूछने पर आरोपी टालमटोल करते रहे। 

बमुश्किल 5 लाख वापस किए
डॉक्टर कैकाड़े को ठगे जाने का संदेह हुआ और उन्होंने अपने रुपए वापस मांगे। रुपए वापस करने में भी टालमटोल रवैया रहा। काफी मशक्कत के बाद 5 लाख रुपए डॉ.कैकाड़े को वापस किए गए। बाकी के 31 लाख रुपए वापस करने का कोई नाम नहीं ले रहा था। थक-हार कर कैकाड़े ने अदालत का दरवाजा खटखटाया। अदालत ने धोखाधड़ी के मामले पर संज्ञान लेते हुए रॉबिन, केतन, दिलीप और स्नेहल के खिलाफ प्रकरण दर्ज कर इसकी जांच करने का आदेश पुलिस को दिया है। रविवार को चारों आरोपियों के खिलाफ प्रकरण दर्ज किया गया है। जांच जारी है। प्रकरण को जिस तरह से अंजाम दिया गया है, उससे गिरोह सक्रिय होने की आशंका है। उसके तार नागपुर से लेकर नाशिक तक जुड़े हो सकते हैं। पूर्व में भी ऐसे मामले उजागर हुए हैं।
 

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