भाजपा का आरोप - बदले की भावना से काम कर रही कमलनाथ की सरकार

भाजपा का आरोप - बदले की भावना से काम कर रही कमलनाथ की सरकार

Bhaskar Hindi
Update: 2019-02-15 07:52 GMT
भाजपा का आरोप - बदले की भावना से काम कर रही कमलनाथ की सरकार

डिजिटल डेस्क, छिंदवाड़ा। हाईकोर्ट ने गुरुवार को महापौर कांता सदारंग को पद से हटाए जाने का नोटिस निरस्त कर दिया है। कोर्ट से मिली राहत के बाद भाजपा ने महापौर की मौजूदगी में प्रेस कान्फ्रेंस की और प्रदेश की कमलनाथ सरकार पर बदले व द्वेष की भावना से काम करने का आरोप लगाया। पूर्व विधायक चौधरी चंद्रभान सिंह ने कहा कि यह लोकशाही में उचित नहीं है, यह जनता का अपमान है। सरकार वचन पत्र पूरा करे, बदले की भावना से काम न करे। भाजपा चुप नहीं बैठेगी। जरूरत पड़ी तो कमलनाथ का घेराव भी किया जाएगा।

राजनीति से प्रेरित
चौधरी चंद्रभान सिंह ने कहा कि महापौर को पद से हटाने का शो-काज नोटिस मिलने के बाद हम न्यायालय गए थे। 17 जनवरी को सरकार ने शपथ ली। 21 जनवरी को नगरनिगम में जांच के आदेश दिए और 31 जनवरी को महापौर को पद से हटाने नोटिस जारी कर दिया। यह द्वेषभावना से किया गया। उन्होंने कहा कि न्यायालय ने भी इसे राजनीति से प्रेरित मानते हुए निरस्त कर दिया है। जिला भाजपा कार्यालय में पत्रकार वार्ता के दौरान जिला अध्यक्ष नरेंद्र परमार, महापौर कांता सदारंग समेत तमाम वरिष्ठ नेता, निगम के सभापति व पार्षद मौजूद थे।

विधायक गौड़ सुपर सीएम काम कर रहे
पूर्व विधायक चौधरी चंद्रभान सिंह ने यह आरोप भी लगाया कि वर्तमान सरकार में जिले में विधायकों की भूमिका गौड़ होकर रह गई है। यहां एक सुपर सीएम हैं। उन्होंने कहा कि इस बात से खुद उनके विधायक परेशान हैं। यह लोकशाही में ठीक नहीं है, यह चुने हुए प्रतिनिधियों और जनता का अपमान है।

झूठा श्रेय ले रहे कमलनाथ
पूर्व विधायक ने यह आरोप भी लगाए कि मुख्यमंत्री कमलनाथ झूठा श्रेय ले रहे हैं। माचागोरा बांध को भाजपा सरकार ने बनाया, जबकि छिंदवाड़ा शहर में पानी लाने का काम भी भाजपा सरकार ने ही शुरू कराया। अब वे झूठा श्रेय लेने की कोशिश कर रहे हैं। उन्होंने परासिया रोड, भरतादेव और धरमटेकरी प्रोजेक्ट को भी पूर्व सरकार का ही बताया।

तनख्वाह देने रुपए नहीं, बातें बड़ी-बड़ी हो रही
भाजपा नेताओं ने यह आरोप भी लगाया कि सरकार के पास तनख्वाह देने रुपए नहीं हैं जबकि बातें बड़ी-बड़ी की जा रही हैं। उन्होंने कहा कि जिले में किसानों का कर्ज माफ करने 1500 करोड़ की जरुरत है, जिसमें सिर्फ 250 करोड़ दिए जा रहे हैं। 800 करोड़ रुपए भावांतर राशि का अतापता नहीं है।

 

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