जनहित याचिका में उठाई गई थी एम्प्रेस मॉल की अनियमितताएं , 9 अगस्त को अंतिम सुनवाई

जनहित याचिका में उठाई गई थी एम्प्रेस मॉल की अनियमितताएं , 9 अगस्त को अंतिम सुनवाई

Anita Peddulwar
Update: 2018-08-01 11:07 GMT
जनहित याचिका में उठाई गई थी एम्प्रेस मॉल की अनियमितताएं , 9 अगस्त को अंतिम सुनवाई

डिजिटल डेस्क, नागपुर। बॉम्बे हाईकोर्ट की नागपुर बेंच में दायर जनहित याचिका में शहर के एम्प्रेस मॉल की विसंगतियों का मुद्दा उठाया गया है। जिसमें मॉल में हुए अवैध निर्माणकार्य, अग्निसुरक्षा के लिहाज से असुरक्षित होने, जलापूर्ति नियमों का उल्लंघन करते मुद्दे उठाए गए हैं। इस मामले में बुधवार को नागपुर बेंच में सभी पक्षों की सुनवाई पूरी हुई। अब कोर्ट ने 9 अगस्त काे मामले की अंतिम सुनवाई रखी है।

जांच में सामने आई थी ये खामियां
पूर्व में हुई सुनवाई में महानगर पालिका ने हाईकोर्ट को बताया था कि समय- समय पर सुरक्षा के लिहाज से उनके द्वारा मॉल का निरीक्षण किया जाता है। बीते दिनों कई खामियां सामने आने के बाद महानगर पालिका ने अग्निसुरक्षा के मापदंडों का उल्लंघन करता देख मॉल को असुरक्षित घोषित किया था। जिसके खिलाफ मॉल प्रबंधन ने अग्निशमन विभाग संचालक के पास अपील दायर करके स्थगन प्राप्त किया था। इसके बाद उन्होंने महानगर पालिका को दोबारा माॅल का निरीक्षण करने के आदेश दिए थे। प्रशासन द्वारा समय - समय पर हुए निरीक्षण के आधार पर मनपा की कार्रवाई जारी है।

मनपा की दलीलों का विरोध करते हुए याचिकाकर्ता के अधिवक्ता विवेक भारद्वाज ने कोर्ट में मुद्दा उठाया कि मनपा पहले मॉल का निरीक्षण करके कई खामियां निकालती है। इसके बाद कंपनी मनपा की कार्रवाई पर स्थगन ले आती है। इसके बाद मनपा फिर मॉल का निरिक्षण करके नई खामियां निकालती है। जिसक बाद मॉल प्रबंधन अपने पक्ष में नया आदेश ला लेता है। यह चक्र बीते कई महिनों से चल रहा है, मगर मॉल प्रबंधन पर कोई कार्रवाई नहीं हो रही। वर्ष 2014 से मॉल की जलापूर्ति बंद है। तो मॉल प्रबंधन ने मॉल के भीतर ही कुएं खोद रखे हैं, जिसके लिए प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड से कोई अनुमति नहीं ली गई। मनपा ने मॉल से ग्राउंड वाटर रेंट की वसूली भी नहीं की। इसी तरह अन्य खामियां भी पाई गई। अब कोर्ट जल्द ही मामले में अपना फैसला सुनाएगा। 

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