पुणे: तीनों लोकसभा उम्मीदवारों ने रखा विजन, एक मंच पर मुरलीधर-रविंद्र और वसंत मोरे

  • कागजों पर बनी योजना को साकार रूप दिया : मोहोल
  • सार्वजनिक परिवहन व्यवस्था सुधारने पर लक्ष्य : वसंत मोरे
  • सत्ताधारी घोषणा करते हैं, उन्हें पूरा नहीं करते : धंगेकर

Tejinder Singh
Update: 2024-04-16 15:58 GMT

डिजिटल डेस्क, पुणे. शिक्षा का मायका, सांस्कृतिक नगरी, आईटी हब, औद्योगिक नगरी सहित स्मार्ट सिटी के रूप अपनी पहचान रखनेवाले पुणे को आज भी यातायात, पानी, कूड़ा, अपराध जैसी सार्वजनिक समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। इसको लेकर पुणे लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र से चुनाव मैदान में उतरे महाविकास आघाड़ी के रविंद्र धंगेकर, महायुति के मुरलीधर मोहोल और वंचित बहुजन आघाड़ी के वसंत मोरे ने मंगलवार को एक मंच पर आकर पुणे का विजन प्रस्तुत किया।

कागजों पर बनी योजना को साकार रूप दिया : मोहोल

नवी पेठ स्थित पत्रकार भवन में श्रमिक पत्रकार संघ द्वारा आयोजित कार्यक्रम में महायुति की ओर से भाजपा के उम्मीदवार मुरलीधर मोहोल ने कहा कि हम अपने पुणे को देश का सर्वश्रेष्ठ शहर बनाने का प्रयास कर रहे हैं। पहले केंद्र, राज्य और मनपा में एक ही पार्टी की सत्ता थी। लेकिन, उस समय अगले 50 वर्षों के बारे में नहीं सोचा गया। हमने जो मेट्रो केवल कागजों पर थी, उसे हकीकत में लाया। पहले के लोग कई कार्यों का सिर्फ उद्घाटन ही करते थे, लेकिन काम पूरा नहीं करते थे। हमने विकास कार्यों का भूमिपूजन भी किया और उन्हें हकीकत में उतार कर उनका लोकार्पण भी किया। शहर में परिवहन व्यवस्था को सक्षम करना होगा। पीएमपीएल बसें बढ़ानी होंगी। साथ ही शहर में मेट्रो का विस्तार जरूरी है। रिंग रोड को पूरा करने के लिए फालोअप करना पडे़गा। नदी परियोजना को पूरा करना, पुरंदर एयरपोर्ट, नवी मुंबई और पुणे हवाई अड्डों को रेल मार्ग से जोड़ना, स्वच्छ पुणे शहर बनाना जरूरी है. साथ ही कई नेशनल रिसर्च सेंटर और पुणे में आईआईटी सेंटर स्थापित करने के प्रयास का वादा भी मोहोल ने किया।

सार्वजनिक परिवहन व्यवस्था सुधारने पर लक्ष्य : वसंत मोरे

पुणे लोकसभा क्षेत्र से वंचित बहुजन अघाड़ी के उम्मीदवार वसंत मोरे ने अपना विजन बताया। शहर में ट्रैफिक जाम एक बड़ी समस्या है। इसलिए उन्होंने कहा है कि शहर के चारों तरफ बस स्टैंड होना जरूरी है। शहर में बसों की संख्या बढ़ाई जा रही है। लेकिन, उन बसों को खड़ा करने के लिए स्टैंड नहीं है। सार्वजनिक परिवहन व्यवस्था को दुरुस्त करना होगा। पुणे में पानी की समस्या गंभीर है। शहर में पानी की योजना बनाना जरूरी है। पुणे शहर में ट्रैफिक इंजीनियर क्यों नहीं है, पानी के लिए वाटर इंजीनियर और कचरे के लिए अलग इंजीनियर चाहिए। उन्होंने कहा है कि शहर को एक अलग बांध की जरूरत है. पानी, यातायात, सड़क के लिए विशेषत्र लोगों को बिठाना जरुरी है। हमारी नदियों का संरक्षण होना चाहिए। शहर में महिलाओं की समस्याओं के लिए अलग से महिला पुलिस कमिश्नरेट का होना जरूरी है। शहर की स्वास्थ्य व्यवस्था को सक्षम बनाना जरूरी है। शहर में डॉ. बाबासाहेब आंबेडकर सांस्कृतिक भवन का कार्य पूरा करेंगे। शहर में एक नई सुसज्य लाइब्रेरी खोली जाएगी, ऐसा मोरे ने कहा।

सत्ताधारी घोषणा करते हैं, उन्हें पूरा नहीं करते : धंगेकर

महाविकास आघाड़ी के उम्मीदवार रविंद्र धंगेकर ने अपना पुणे विजन बताते हुए कहा कि मैं जो कहने जा रहा हूं वही इन दोनों ने कहा है। पुणे शिक्षा का घर है। देश में पहली मेट्रो कांग्रेस ने चलाई। शहर में ट्रैफिक एक बड़ी समस्या है। पुणे मेट्रो की डीपीआर कांग्रेस लेकर आई थी। नागपुर मेट्रो चल रही है। लेकिन, पुणे में हर मेट्रो स्टेशन पर मेट्रो का उद्घाटन किया जा रहा है। पूर्व सांसद सुरेश कलमाडी ने वास्तव में पुणे का विकास किया। मैं पुणे में लगातार बढ़ रहे ड्रग्स के मामलों और अपराधों के बारे में बात कर रहा हूं। इन पर अंकुश लगाया जाना चाहिए, नहीं तो एक दिन पुणे शहर अपनी गौरवशाली पहचान खो कर बदनाम हो जाएगा। आज शहर में पानी की समस्या बढ़ गई है। सत्ताधारी केवल घोषणाएं करते है, काम नहीं करते, ऐसा आरोप धंगेकर ने लगाया। साथ ही उन्होंने कहा पुणे के लिए मनमोहन सिंह ने 350 करोड़ रुपये दिये थे। अब शहर को क्या मिल रहा है। उन्होंने कहा है कि विचारों की लड़ाई विचारों से लड़नी चाहिए। देश में किसानों की समस्या सामने है। देश में किसान, व्यवसायी, विद्यार्थी सभी परेशान है।


 


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