चीन बनाएगा अंतरिक्ष में अपना अलग ‘चांद’, रोशन करेगा पूरा शहर

चीन बनाएगा अंतरिक्ष में अपना अलग ‘चांद’, रोशन करेगा पूरा शहर

Bhaskar Hindi
Update: 2018-10-18 13:35 GMT
चीन बनाएगा अंतरिक्ष में अपना अलग ‘चांद’, रोशन करेगा पूरा शहर
हाईलाइट
  • एक रिपोर्ट के अनुसार चीन ने इस मिशन के लिए कृत्रिम चांद तैयार भी कर लिया है।
  • चीन इस सैटेलाइट को 2020 में लॉन्च करेगी।
  • बिजली की खपत बचाने के लिए चीन एक 'कृत्रिम चांद' अंतरिक्ष में भेजने की तैयारी कर रहा है।

डिजिटल डेस्क, बीजिंग। बिजली की खपत बचाने के लिए चीन एक "कृत्रिम चांद" अंतरिक्ष में भेजने की तैयारी कर रहा है। एक रिपोर्ट के अनुसार चीन ने इस मिशन के लिए कृत्रिम चांद (सैटेलाइट) तैयार भी कर लिया है। चीन इस सैटेलाइट को 2020 में लॉन्च करेगा। यह सैटेलाइट चीन के एक शहर चेंगदू को रोशन करेगा, जिसकी वजह से वहां रातों में स्ट्रीट लाइट की जरूरत नहीं पड़ेगी। इस सैटेलाइट की रोशनी असली चांद से आठ गुना ज्यादा होगी।

इस रिपोर्ट के अनुसार चेंगदू के अधिकारियों ने घोषणा की है कि वह अंतरिक्ष में एक ऐसा सैटेलाइट उतारने जा रहे हैं, जो सूर्य की रोशनी को इकट्ठा कर उसे ऊर्जा के रूप में इस्तेमाल करेगा। इसके बाद रात में इसी ऊर्जा का इस्तेमाल शहर को रोशन करने के लिए करेगा। अधिकारियों ने दावा किया कि इस सैटेलाइट की रोशनी पूरे शहर को जगमगा देने के लिए काफी होगी। इससे न केवल रोशनी मिलेगी, बल्कि इससे बिजली की खपत और खर्च को कम करने में भी मदद मिलेगी।

रिपोर्ट के अनुसार इस सैटेलाइट की ऊपरी सतह को एक रिफ्लेकटिव पदार्थ से कोटिंग की जाएगी। इससे सूर्य की रोशनी से जमा हुई ऊर्जा को रिफ्लेक्ट करने में मदद मिलेगी और यह धरती (चीन) के 50 स्क्वेयर मील की क्षेत्र को रोशनी प्रदान करेगा। चीन ने यह योजना 1999 के रूस द्वारा इस्तेमाल की गई तकनीक पर तैयार की है। रूस ने 1999 में साइबेरिया को एक मिरर के इस्तेमाल से रोशन करने की योजना बनाई थी। इस प्लान में रूस ने उस मिरर को अंतरिक्ष में छोड़ने की योजना तैयार की थी।

रिपोर्ट में कहा गया है कि काफी टेस्ट के बाद चीन ने आखिरकार इस तकनीक को बनाने में कामयाबी हासिल की है। यह आइडिया चीन के बिजनेसमैन और चेंगद एयरोस्पेस साइंस एंड टेक्नोलॉजी माइक्रोइलेक्ट्रॉनिक्स सिस्टम रीसर्च इंस्टिट्यूट के चेयरमैन वू शुनफेंग द्वारा तैयार की गई है। हालांकि इस प्रोजेक्ट पर कुछ लोगों ने आपत्ति भी जताई है। इन लोगों का कहना है कि इस कृत्रिम चांद की तेज रोशनी से लोगों के स्किन और जानवरों को नुकसान पहुंच सकता है।

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