6 साल से जेल में बंद 7 रोहिंग्याओं को भारत ने भेजा बॉर्डर, वापस जाना होगा म्यांमार

6 साल से जेल में बंद 7 रोहिंग्याओं को भारत ने भेजा बॉर्डर, वापस जाना होगा म्यांमार

Bhaskar Hindi
Update: 2018-10-03 10:54 GMT
6 साल से जेल में बंद 7 रोहिंग्याओं को भारत ने भेजा बॉर्डर, वापस जाना होगा म्यांमार
हाईलाइट
  • सातों को 2012 में जेल में बंद किया गया था
  • सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले की तत्काल सुनवाई करने से इनकार किया
  • सुप्रीम कोर्ट में इस पर रोक लगाने दायर की गई थी याचिका

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। भारत से 7 रोहिंग्या मुसलमानों को बॉर्डर पर भेजा गया है, इन्हें म्यांमार वापस भेजा जा रहा है। ये सभी अवैध रूप से भारत में दाखिल होने के कारण 2012 से जेल में बंद थे। इस मामले में सुप्रीम कोर्ट में एक याचिका दायर की गई थी। याचिका में मांग की गई थी कि सु्प्रीम कोर्ट इस मामले को संज्ञान में लेकर फौरन इसकी सुनवाई करे, लेकिन कोर्ट ने यह करते हुए इस पर सुनवाई से इंकार कर दिया कि केवल ऐसे मामलों की ही तत्काल सुनवाई हो सकती है, जिसमें किसी को फांसी दी जाने वाली हो।

 

खुफिया एजेंसियों ने किया था खुलासा 
उत्तराखंड में पहुंचे रोहिंग्या मुसलमानों की घुसपैठ को लेकर खुफिया एजेंसियों ने उत्तराखंड की रावत सरकार को इसकी रिपोर्ट दी थी। जिसमें इस बात का खुलासा हुआ था कि रोहिंग्या अब उत्तराखंड में शरण ले रहे हैं। दरअसल, कुछ समय पूर्व विधायक खानपुर कुंवर प्रणव चैंपियन ने एक बयान में कहा था कि रोहिंग्या हरिद्वार तक पहुंच चुके हैं। उस समय मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने इस बात का समर्थन नहीं किया था। इसके बाद उन्होंने खुफिया एजेंसियों से इसका इनपुट लिया। इस पर सरकार को प्रदेश में बाहर से आकर अवैध रूप से बसने वालों की जानकारी मिली।

 

 

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