Tokyo Olympic 2020: गोली भी इनकी होगी, पिस्टल भी इनकी होगी, निशाने पर होगा सोना ही सोना, भारतीय निशानेबाजों से बड़ी उम्मीद

Tokyo Olympic 2020: गोली भी इनकी होगी, पिस्टल भी इनकी होगी, निशाने पर होगा सोना ही सोना, भारतीय निशानेबाजों से बड़ी उम्मीद

Bhaskar Hindi Desk
Update: 2021-07-20 08:16 GMT
Tokyo Olympic 2020: गोली भी इनकी होगी, पिस्टल भी इनकी होगी, निशाने पर होगा सोना ही सोना, भारतीय निशानेबाजों से बड़ी उम्मीद
हाईलाइट
  • निशानेबाजी में 14 खिलाड़ीयों के साथ सबसे बड़ा दल
  • मध्य प्रदेश के 2 शूटर दिखाएगें अपना हुनर

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली।  भारत ने टोक्यो ओलिंपिक (Tokyo Olympic) के लिए शूटिंग (Shooting) में सबसे ज्यादा कोटा हासिल किया है।  टोक्यो जाने वाली टीम में 15 भारतीय निशानेबाज (Shooters) शामिल है।

मनु भाकर

मनु भाकर (Manu Bhaker) भारत  युवा ओलंपियन निशानेबाज हैं। वह ISSF विश्व कप (ISSF World Cup) में स्वर्ण जीतने वाली सबसे कम उम्र की भारतीय शूटर (Indian Shooter) हैं। उन्होंने 2018 राष्ट्रमंडल खेलों (CommonWealth Games 2018) में महिलाओं की 10 मीटर एयर पिस्टल इवेंट (10m Air Pistol Event)  में मात्र 16 साल की उम्र में स्वर्ण पदक जीतकर इतिहास रचा था।

मनु भाकर (Manu Bhaker)  ने 2017 की राष्ट्रीय शूटिंग चैंपियनशिप (National Shooting Championship) के दौरान 242.3 का नया रिकॉर्ड स्कोर बनाकर हमवतन ओलंपियन और पूर्व वर्ल्ड नंबर-1 (Ex- World No.1) हीना सिद्धू (Hina Sidhu)  को चौंका दिया, 10 मीटर एयर पिस्टल फाइनल में सिद्धू के रिकॉर्ड को तोड़ दिया था।

सौरभ चौधरी

सौरभ (Saurabh Chaudhary) के पास वर्तमान में दो विश्व रिकॉर्ड (World Record) हैं, एक 10 मीटर एयर पिस्टल (10m Air Pistol) में और एक 10 मीटर पिस्टल मिक्सड टीम में। सौरभ ने सीनियर आईएसएसएफ डेब्यू किया और 10 मीटर एयर पिस्टल में विश्व रिकॉर्ड बनाया, जिससे उन्हें न केवल टूर्नामेंट में स्वर्ण पदक मिला, बल्कि टोक्यो ओलंपिक (Tokyo Olympic 2020) का टिकट भी मिला।

उत्तर प्रदेश में मेरठ जिले के कलिना गांव के रहने वाले सौरभ चौधरी (Saurabh Chaudhary) का जन्म 12 मई 2002 को हुआ था और उनकी उम्र महज 19 साल है। सौरभ हर दिन ट्रेनिंग के लिए अपने गांव से 15 किलोमीटर का सफर तय किया करते थे और उन्होंने पहले कुछ दिनों में कुछ प्रभावशाली परिणाम दिखाए, जिसने उनके कोच अमित शैरॉन का ध्यान आकर्षित किया। पिस्टल महंगी होती है तो सौरभ के परिवार ने उसे सहारा देने के लिए कर्ज लेकर पिस्टल खरीदी और उन्होंने अपने घर के बैकयार्ड में एक शूटिंग रेंज (Shooting Range) बनवाई ताकि सौरभ घर पर अभ्यास कर सके।


ऐश्वर्य प्रताप सिंह तोमर

ओलंपिक शूटिंग इवेंट में देश का प्रतिनिधित्व करने वाले ऐश्वर्य, मध्य प्रदेश के पहले निशानेबाज होंगे। एमपी के खरगौन जिले के रतनपुर गांव के निवासी ऐश्वर्य प्रताप सिंह तोमर 50 मीटर राइफल 3 पोजीशन इवेंट में हिस्सा लेंगे।
ऐश्वर्य के पिता वीर बहादुर सिंह एक किसान हैं। ऐश्वर्य प्रताप सिंह तोमर (Aishwarya Pratap Singh Tomar) के परिजनों का कहना है कि ऐश्वर्य को बचपन से ही निशानेबाजी (Shooting) का शौक रहा है। उनका कहना है कि अब जिम्मेदारी और बढ़ गई है। अब छोटी-छोटी चीजों का भी ध्यान रखना होगा, तभी रिजल्ट आएगा।

चिंकी यादव

भोपाल की पिस्टल शूटर चिंकी यादव (Chinki Yadav) को छोड़कर बाकी सभी कोटा (Olympic Quota) हासिल करने वाले निशानेबाज टीम का हिस्सा थे। चिंकी को टीम से बाहर करने पर पूर्व निशानेबाज और चिंकी के कोच जसपाल राणा ने काफी सवाल उठाए थे।

कोटा (Olympic Quota)  हासिल करने के बावजूद टोक्यो ओलिंपिक (Tokyo Olympic 2020) के लिए भारतीय टीम से निकालने पर चिंकी को काफी मानसिक पीड़ा झेलनी पड़ी थी, लेकिन माता-पिता के समर्थन से उन्हें डिप्रेशन से बाहर आने में मदद मिली।

लेकिन अब वो टीम का हिस्सा हैं और ओलंपिक में 25m पिस्टल इवेंट (25m Pistol Event) में भारत का प्रतिनिधित्व करेंगी।

यशस्विनी सिंह देसवाल

यशस्विनी (Yashaswini Singh Deswal) टोक्यो ओलंपिक (Tokyo Olympic 2020) में विश्व नंबर (World No.1) एक के रूप में प्रवेश करेंगी और उनके पास पदक जीतने की अच्छी संभावना है। दिल्ली की 24 वर्षीय निशानेबाज लगातार विभिन्न प्रतियोगिताओं में पोडियम फिनिश (Podium Finish) दर्ज करती आ रही है।
यशस्विनी एक संपन्न परिवार से आती हैं। उनके पिता एक IPS अधिकारी हैं, जो भारत-तिब्बत सीमा पुलिस के महानिदेशक के रूप में सेवारत हैं, उनकी माँ पंचकुला में मुख्य आयकर आयुक्त हैं।

इन चेहरों  के अलावा कुछ और भी निशानेबाज हैं जो इस ओलंपिक में कमाल दिखाने को बेकरार हैं।

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