MP में दलितों के खिलाफ दर्ज केस वापस लेगी सरकार, पुलिस को आज से साप्ताहिक अवकाश भी

MP में दलितों के खिलाफ दर्ज केस वापस लेगी सरकार, पुलिस को आज से साप्ताहिक अवकाश भी

Bhaskar Hindi
Update: 2019-01-01 11:29 GMT
MP में दलितों के खिलाफ दर्ज केस वापस लेगी सरकार, पुलिस को आज से साप्ताहिक अवकाश भी
हाईलाइट
  • दलितों के खिलाफ दर्ज केस वापस लेगी कमलनाथ की सरकार
  • मायावती के धमकी का मध्य प्रदेश में असर

डिजिटल डेस्क, भोपाल। बसपा प्रमुख मायावती की धमकी का असर मध्यप्रदेश में नजर आने लगा है। कांग्रेस सरकार ने ST-SC एक्ट को लेकर हुए विरोध प्रदर्शन में दलितों के खिलाफ दर्ज केस वापस लेने का फैसला लिया है। खबर है कि कमलनाथ की सरकार ने मायावती के दबाव में यह फैसला लिया है। सोमवार को मायावती ने अपने बयान में कहा था कि मध्य प्रदेश में दलितों पर केस वापस न हुए तो समर्थन वापसी विचार किया जा सकता है। माया की इस धमकी का असर अगले ही दिन नजर आ गया। कांग्रेस सरकार ने बीजेपी सरकार में दलितों पर लगे केसों को वापस लेने की घोषणा कर दी। इसके साथ ही दलितों पर बीते 15 सालों में दर्ज हुए इस तरह के अन्य केसों को भी वापस लेने का निर्णय किया है। इसी तरह एक जनवरी से पुलिस को एक दिन का साप्ताहिक अवकाश भी शुरू कर दिया गया है। मुख्यमंत्री के निर्देश पर मंगलवार को DGP ऋषि शुक्ल ने इस सम्बन्ध में आदेश जारी कर दिए। 

इधर मायावती का बयान जारी होने के बाद कमलनाथ कैबिनेट में कानून मंत्री पीसी शर्मा ने कहा, SC/ST ACT 1989 को लेकर 2 अप्रैल 2018 को हुए भारत बंद के दौरान लगाए गए केसों के साथ-साथ इस तरह के सभी केस जो पिछले 15 सालों में बीजेपी ने लगाए हैं, उन्हें वापस लिया जाएगा। बता दें कि बसपा ने एक प्रेस नोट में कहा था कि भारत बंद के दौरान यूपी सहित बीजेपी शासित राज्यों में जातिगत और राजनीतिक द्वेष की भावना के तहत कार्रवाई में लोगों को फंसाया गया है। ऐसे लोगों के खिलाफ चल रहे केस को वहां (एमपी और राजस्थान में) बनीं कांग्रेसी सरकारें वापस लें। अगर इस मांग पर कांग्रेस सरकार ने अविलंब कार्रवाई नहीं की तो हम उसे बाहर से समर्थन देने के बारे में पुनर्विचार कर सकते हैं।" बीएसपी की इस धमकी के बाद कांग्रेस की टेंशन बढ़ गई थी। 

 

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