राजगढ़: दुष्कर्मी सौतेला पिता को आजीवन कारावास

दुष्कर्मी सौतेला पिता को आजीवन कारावास
बालिका के साथ दुष्कर्म करने वाले सौतेले पिता को सश्रम आजीवन कारावास और 25 हजार रुपये के अर्थदंड से दंडित किया है।

डिजिटल डेस्क, भोपाल। अपनी ही सौतेली बेटी के साथ कुकर्म करने वाले आरोपी को न्यायालय ने आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। अब अपराधी मरते दम तक जेल की सलाखों के पीछे ही रहेगा। यह फैसला राजगढ़ पदस्थ तृतीय अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश अब्दुलकदीर मंसूरी की कोर्ट ने शुक्रवार को फैसला सुनाया। फैसले के तहत बालिका के साथ दुष्कर्म करने वाले सौतेले पिता को सश्रम आजीवन कारावास और 25 हजार रुपये के अर्थदंड से दंडित किया है। इस प्रकरण में शासन की ओर से पैरवी आलोक श्रीवास्तव, तत्कालीन जिला लोक अभियोजन अधिकारी एवं वर्तमान जिला लोक अभियोजन अधिकारी जैनेन्द्र कुमार जैन राजगढ ने की है।

घटना 1 जनवरी 2023 की है। पीड़िता ने थाने में शिकायती आवेदन में बताया कि मेरी माता शादी ब्याह में खाना बनाने का काम करती है। रक्षाबंधन के करीब 5-6 दिन पहले की बात है मम्मी खाना बनाने बाहर गई थी। उसी दिन सौतेला पिता ने मुझे जबरन पकड़ मेरा मुंह बंद कर दुष्कर्म किया तथा बोला कि अगर किसी को बताया तो तेरी मां व भाई को जान से खतम कर दूंगा। अगले दिन मेरी मम्मी आई। मैंने डर के कारण उन्हें कुछ नहीं बताया। इस घटना के दो-तीन दिन बाद ही फिर मम्मी काम पर गई थीं और मेरा भाई स्कूल गया था। उन्होंने मुझे पकड लिया। मेरे मना करने पर मुझे मारा और फिर गलत काम किया। मैंने डर के कारण किसी को कुछ नहीं बताया। मेरा महीना नहीं आने से मेरी मम्मी मुझे डॉक्टर को दिखाने ले गई तब मुझे और मेरी मम्मी को पता चला कि मैं प्रेगनेंट हूं। मेरी मम्मी ने मुझसे पूछा तब मैंने उन्हें पूरी बात बताई। फरियादि का प्रकरण पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया। संपूर्ण विवेचना उपरांत चालान न्यायालय में प्रस्तुत किया गया।

प्रकरण में साक्षों तथा गवाहों के आधार पर न्यायालय ने अभियुक्त कैलाश नारायण (परिवर्तित नाम) को धारा 3 सहपठित धारा 4 की उपधारा 2 पॉक्सो एक्ट में 20 वर्ष का कारावास एवं 5000/- रू का अर्थदण्ड, धारा 5 एल सहपठित धारा 6 पॉक्सो एक्ट में 20 वर्ष का कारावास एवं 5000/- रू का अर्थदण्ड, धारा 5(जे)(2) सहपठित धारा 6 पॉक्सो एक्ट में सश्रम आजीवन कारावास एवं 10,000/- रू का अर्थदण्ड एवं 3(2)5 एससी-एसटी एक्ट में सश्रम आजीवन कारावास एवं 5,000/- रू का अर्थदण्ड से दण्डित किया है।

Created On :   13 May 2024 10:04 AM GMT

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