मोहन प्रकाश और अरूण यादव को HC से राहत, व्यापम घोटाले की मॉनिटरिंग पर दिया था बयान

Mohan Prakash and Arun Yadav relieving HC,Statement on the business scam was given on the statement
मोहन प्रकाश और अरूण यादव को HC से राहत, व्यापम घोटाले की मॉनिटरिंग पर दिया था बयान
मोहन प्रकाश और अरूण यादव को HC से राहत, व्यापम घोटाले की मॉनिटरिंग पर दिया था बयान

डिजिटल डेस्क,जबलपुर। व्यापम घोटाले को लेकर हाईकोर्ट की मॉनीटरिंग के खिलाफ आपत्तिजनक बयान देने के आरोप में फंसे कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव मोहन प्रकाश और प्रदेश अध्यक्ष अरुण यादव को राहत मिली है। उनके खिलाफ दायर की गईं तीन अवमानना याचिकाएं मंगलवार को सुनवाई के बाद वापस ले ली गई। चीफ जस्टिस हेमंत गुप्ता और जस्टिस विजय कुमार शुक्ला की युगलपीठ ने बल न देने के कारण याचिकाएं खारिज कर दीं। 

गौरतलब है कि जबलपुर के अधिवक्ता अनिल कुमार सोनी और हाईकोर्ट बार एसोसिएशन के संजय सेठ ने पहली याचिका, दूसरी अवमानना याचिका अधिवक्ता डीके परोहा और तीसरी अवमानना याचिका अनवर हुसैन की ओर से दायर की गईं थीं। आवेदकों का कहना था कि 8 जुलाई 2015 को कांग्रेस महासचिव मोहन प्रकाश का व्यापम घोटाले से संबंधित एक आपत्तिजनक बयान एक अंग्रेजी अखबार में प्रकाशित हुआ था। उस बयान में मोहन प्रकाश ने व्यापम घोटाले की जांच सुप्रीम कोर्ट की निगरानी में कराए जाने की बात कही थी। साथ ही यह भी कहा था कि सीबीआई इस घोटाले को लेकर हाईकोर्ट की भी जांच करे। 

आवेदकों का कहना था कि इस तरह का बयान देकर कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव ने उस उच्च न्यायालय की छवि धूमिल की है, जो गरीब लोगों के लिए न्याय की आखिरी उम्मीद होती है। बयान में हाईकोर्ट का उल्लेख करके अनावेदकों ने उच्च न्यायालय के सभी न्यायाधीशों की विश्वसनीयता पर सवाल उठाए और प्रदेश की शीर्ष अदालत पर अंगुली उठाने का कोई अधिकार नहीं है। इन आधारों के साथ दायर इस अवमानना याचिकाओं में कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव मोहन प्रकाश, प्रदेश अध्यक्ष अरुण यादव और अंग्रेजी अखबार के चीफ एडीटर राजीव शर्मा को दंडित किए जाने की मांग की गई थी। 
 

Created On :   2 Aug 2017 4:02 AM GMT

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