एशियाई युवा खेलों में ऐतिहासिक प्रदर्शन का मिला इनाम, बीएफआई मुक्केबाजों को दिया सम्मान
नई दिल्ली, 1 नवंबर (आईएएनएस)। बहरीन की राजधानी मनामा में आयोजित एशियाई युवा खेलों में भारतीय मुक्केबाजों का प्रदर्शन ऐतिहासिक रहा। भारतीय दल ने कुल सात पदक जीते, जिसमें चार स्वर्ण, दो रजत और एक कांस्य पदक थे। भारतीय मुक्केबाजी संघ ने शनिवार को युवा मुक्केबाजों को उनके शानदार प्रदर्शन करने के लिए राजधानी नई दिल्ली में सम्मानित किया।
सम्मान समारोह में संसदीय कार्य और अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री, पूर्व खेल मंत्री किरेन रिजिजू मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित थे। समारोह में भारतीय मुक्केबाजी महासंघ (बीएफआई) के अध्यक्ष अजय सिंह और महासचिव प्रमोद कुमार भी उपस्थित थे।
इस अवसर पर किरेन रिजिजू ने कहा, "यहां आकर और युवा एशियाई मुक्केबाजी चैंपियनशिप के चैंपियनों को देखकर बहुत खुशी हो रही है। एशिया में मुक्केबाजी दुनिया में सबसे कठिन खेलों में से एक है, और यहां पदक जीतना उतना ही चुनौतीपूर्ण और प्रतिष्ठित है जितना कि वैश्विक स्तर पर। भारत अपनी खेल शक्ति का लगातार विकास कर रहा है, लेकिन हमारी यात्रा अभी पूरी नहीं हुई है।"
उन्होंने कहा, "मैं भारत के ओलंपिक प्रदर्शनों से हमेशा से बहुत प्रभावित रहा हूं, और इसने मुझे देश में खेलों के विकास के लिए और अधिक मेहनत करने के लिए प्रेरित किया है। हमारे एथलीटों की सामाजिक-आर्थिक सुरक्षा सुनिश्चित करना हमारी सामूहिक ज़िम्मेदारी है, ताकि वे पूरी तरह से उत्कृष्टता प्राप्त करने पर ध्यान केंद्रित कर सकें। मैं बीएफआई अध्यक्ष अजय सिंह को उनके बेजोड़ समर्थन और नेतृत्व के लिए भी बधाई देता हूं। उनके मार्गदर्शन में भारत में मुक्केबाजी कई गुना बढ़ी है, और परिणाम उनकी दूरदर्शिता और प्रतिबद्धता के प्रमाण हैं। खेलो इंडिया और फिट इंडिया जैसी सरकारी पहलों ने भारत के खेल पारिस्थितिकी तंत्र को मज़बूत करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। हमें अभी भी एक लंबा रास्ता तय करना है, और हम एक ऐसा माहौल बनाने के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध हैं जहां हर एथलीट अपनी क्षमता का पूरा उपयोग कर सके और देश का नाम रोशन कर सके।"
बीएफआई अध्यक्ष अजय सिंह ने कहा, "यह बेहद गर्व की बात है कि भारत ने अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करते हुए सात पदक जीते हैं। हमारी महिला टीम का एशिया में नंबर एक स्थान पर रहना भारतीय मुक्केबाजी की बढ़ती ताकत को दर्शाता है। ये युवा एथलीट हमारे देश की भविष्य की चैंपियन और ओलंपिक की उम्मीद हैं। हम यह सुनिश्चित करेंगे कि उन्हें भारत को ओलंपिक में गौरव दिलाने के लिए सर्वोत्तम प्रशिक्षण, सुविधाएं और समर्थन मिले। अंतर्राष्ट्रीय मंच पर राष्ट्रगान को पांच बार सुनने से बड़ा कोई एहसास नहीं होता। पटियाला में हमारे उत्कृष्ट सेटअप द्वारा युवा प्रतिभाओं को तराशने के साथ, हमें अगले साल युवा ओलंपिक में एक और ऐतिहासिक प्रदर्शन का भरोसा है।"
एशियाई युवा खेलों में खुशी चंद (46 किग्रा), अहाना शर्मा (50 किग्रा), चंद्रिका भोरशी पुजारी (54 किग्रा), और अंशिका (80 किग्रा से अधिक) ने स्वर्ण, हरनूर कौर (66 किग्रा) और लंचेनबा सिंह मोइबुंगखोंगबाम (50 किग्रा) ने रजत, और अनंत देशमुख (66 किग्रा) ने कांस्य पदक जीता।
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Created On :   1 Nov 2025 5:24 PM IST












