येरवडा जेल में एकबोटे के साथ हुई एक शख्स की गुप्त बैठक, ठाणे सेंट्रल जेल अधीक्षक का आराेप

येरवडा जेल में एकबोटे के साथ हुई एक शख्स की गुप्त बैठक, ठाणे सेंट्रल जेल अधीक्षक का आराेप

Tejinder Singh
Update: 2018-04-06 12:34 GMT
येरवडा जेल में एकबोटे के साथ हुई एक शख्स की गुप्त बैठक, ठाणे सेंट्रल जेल अधीक्षक का आराेप

डिजिटल डेस्क, पुणे। कोरेगांव भीमा हिंसा प्रकरण में गिरफ्तार समस्त हिंदू आघाड़ी के संस्थापक अध्यक्ष मिलिंद एकबोटे और एक शख्स की येरवड़ा सेंट्रल जेल में गुप्त बैठक हुई है। यह आरोप ठाणे सेंट्रल जेल के अधीक्षक हिरालाल जाधव ने लगाया है। इस संदर्भ में राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, राज्यपाल, मुख्यमंत्री और जेल के वरिष्ठ अधिकारियों को पत्र भेजकर मामले की जांच कराने की मांग की गई है।

शख्स जिसे एकबोटे से मिलवाया गया
जाधव ने बताया कि 24 और 25 मार्च को जेल के पश्चिम महाराष्ट्र विभाग की उपमहानिरीक्षक स्वाति साठे गाड़ी सीधे जेल के भीतर चले गईं। उनके साथ एक शख्स था, जिसे एकबोटे से मिलवाया गया। उनकी गुप्त बैठक हुई, लेकिन रजिस्टर में उक्त शख्स का नाम नहीं लिखा गया। जबकि जेल के भीतर जानेवाले सभी का रिकार्ड रखा जाता है। लेकिन एकबोटे से मिलने गए शख्स का नाम रिकार्ड में क्यों नहीं लिखा गया? उक्त शख्स कौन था? यह सवाल उठाते हुए जाधव ने कहा कि साठे ने अपने अधिकार और पद का दुरुपयोग किया है। आरोप लगाते हुए मामले की जांच करने की मांग की है।

अभी तक नहीं मिला पत्र
हिरालाल जाधव ने इस संदर्भ में राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री, जेल के वरिष्ठ अधिकारियों को पत्र भी भेजा है।  जिसपर स्वाति साठे ने कहा है कि जाधव ने जो पत्र भेजा है, वह उन तक नहीं आया है। इसलिए अभी वे कुछ नहीं कह सकतीं। पत्र पढ़ने के बाद ही इस पर प्रतिक्रिया देंगी।

क्या है मामला?
गौरतलब है कि 1 जनवरी को कोरेगांव भीमा स्थित विजयस्तंभ को अभिवादन करने के लिए राज्य से हजारों की तादाद में लोग जुटे थे। इस मौके पर समाज के दो गुटों में घमासान हुआ। पथराव, आगजनी की घटनाओं को अंजाम दिया गया। इसमें राहुल फटांगले नामक युवक की मौत हो गई। समस्त हिंदू आघाड़ी के संस्थापक कार्याध्यक्ष मिलिंद एकबोटे तथा शिव प्रतिष्ठान के संभाजी भिड़े गुरूजी पर शिक्रापुर पुलिस थाने में एट्रोसिटी, दंगे भड़काने के तहत मामला दर्ज किया गया।अंतरिम जमानत के लिए एकबोटे ने पहले पुणे सत्र न्यायालय में अर्जी दी थी, जो खारिज की गई। उच्च न्यायालय में भी उनकी अर्जी खारिज हुई। उसके बाद एकबोटे ने सर्वोच्च न्यायालय से गुहार की। उनकी अर्जी पर बुधवार को अंतिम सुनवाई हुई। एकबोटे प्रकरण की जांच में सहयोग नहीं दे रहे हैं, राज्य सरकार की रिपोर्ट को गंभीरता से लेते हुए न्यायालय ने एकबोटे की अर्जी खारिज की। उसके बाद तत्काल पुलिस ने एकबोटे को उनके घर से गिरफ्तार किया था।

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