दाभोलकर-पानसरे हत्याकांड मामले में हाईकोर्ट की CBI - SIT को फटकार, इमानदारी से नहीं हो रही जांच

दाभोलकर-पानसरे हत्याकांड मामले में हाईकोर्ट की CBI - SIT को फटकार, इमानदारी से नहीं हो रही जांच

Tejinder Singh
Update: 2018-06-28 14:47 GMT
दाभोलकर-पानसरे हत्याकांड मामले में हाईकोर्ट की CBI - SIT को फटकार, इमानदारी से नहीं हो रही जांच

डिजिटल डेस्क, मुंबई। बॉम्बे हाईकोर्ट ने सामाजिक कार्यकर्ता नरेंद्र दाभोलकर व गोविंद पानसरे हत्याकांड की जांच कर रही CBI व राज्य के विशेष जांच दल (SIT) को कड़ी फटकार लगाई है। हाईकोर्ट ने CBI व SIT की जांच रिपोर्ट पर असंतोष व्यक्त करते हुए कहा कि दोनों जांच एजेंसी ईमानदारी से मामले की जांच नहीं कर रही है। इसके बाद अदालत ने मामले को लेकर CBI के संयुक्त निदेशक व राज्य के गृह विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव को अगली सुनवाई के दौरान कोर्ट में हाजिर रहने का निर्देश दिया। 

इससे पहले प्रकरण को लेकर जस्टिस एससी धर्माधिकारी व जस्टिस भारती डागरे की बेंच के सामने प्रगति रिपोर्ट पेश की। जिस पर गौर करने के बाद बेंच ने अप्रसन्नता जाहिर की और कहा कि हम जांच रिपोर्ट से संतुष्ट नहीं हैं। बेंच ने कहा कि दोनों जांच एजेंसी दावा कर रही है कि हम संदिग्ध लोगों व कट्टरपंथी संगठनों पर लगातार नजर बनाए हुए हैं, पर कर्नाटक पुलिस पत्रकार गौरी लंकेश के मामले में यहां से आरोपी को पकड़कर ले जाती है। आखिर कैसे कर्नाटक पुलिस ने महाराष्ट्र से आरोपी को पकड़ा।

यह दर्शाता है कि CBI व SIT समन्वय के साथ काम नहीं कर रही हैं। हाल ही में कर्नाटक पुलिस ने पत्रकार गौरी लंकेश हत्या मामले को लेकर महाराष्ट्र से परशुराम वाघमारे नाम के आरोपी को गिरफ्तार किया था।

बेंच ने कहा कि हम चाहते है कि जांच को लेकर जैसी गंभीरता कर्नाटक पुलिस ने दिखाई है वैसी ही गंभीरता CBI व SIT भी दिखाए। हम सिर्फ प्रगति रिपोर्ट देखकर संतुष्ट नहीं होंगे। यह रिपोर्ट हमें संतुष्ट नहीं करती। हमें वरिष्ठ अधिकारियों को कोर्ट में बुलाने पर खुशी नहीं मिल रही है, लेकिन जांच एजेंसी ने उन पहलूओं पर गौर नहीं किया है, जिनकी ओर अदालत ने इशारा किया था। इसके बाद बेंच ने CBI के संयुक्त निदेशक व गृह विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव को तलब किया। बेंच ने फिलहाल मामले की सुनवाई 12 जुलाई तक के लिए स्थगित कर दी है। 
 

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