विद्युतीकरण कार्य में बरती गई अनियमितताओं की जाँच कराने नई समिति का गठन
विद्युतीकरण कार्य में बरती गई अनियमितताओं की जाँच कराने नई समिति का गठन
सौभाग्य योजना के तहत सीधी में कराए गए केबलीकरण की नपाई के साथ अब होगी विद्युत पोलों की भी गिनती
डिजिटल डेस्क जबलपुर । पूर्व क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी में सौभाग्य योजना के तहत कराए गए विद्युतीकरण की नए सिरे से जाँच कराने अब नई समिति गठित की गई है। इस पाँच सदस्यीय समिति में सीधी जिले के तीन और जबलपुर के दो अधिकारियों को शामिल किया गया है। इस समिति द्वारा सीधी क्षेत्र में कराए गए विद्युतीकरण कार्य की बिंदुवार जाँच की जाएगी। खासकर उन क्षेत्रों में समिति को जाँच की जिम्मेदारी सौंपी गई है जहाँ बिना कार्य कराए ही देयकों के भुगतान की शिकायत की गई है।
सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार मंडला-डिंडौरी में सौभाग्य योजना के तहत किए गए विद्युतीकरण की जाँच चल रही है। इसके साथ ही अब सीधी जिले में भी जाँच करने नई टीम गठित की गई है। जानकारों का कहना है कि सौभाग्य योजना के तहत विद्युतीकरण कार्य में सबसे ज्यादा अनियमितताएँ सीधी और सिंगरौली में बरती गई हैं। यहाँ करीब सौ करोड़ रुपए से अधिक की गड़बड़ी किए जाने की शिकायत पूर्व क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी को भेजी गई है। सूत्र बताते हैं कि सितंबर 2017 में सौभाग्य योजना प्रारंभ की गई थी। इस योजना के तहत विद्युत विहीन गाँव मजरा-टोला और घरों का विद्युतीकरण किया जाना था, मगर अधिकारियों द्वारा इस पूरे कार्य में गंभीर लापरवाही बरती गई। बताया जाता है कि पिछली (कांग्रेस) सरकार के दौरान इस पूरे प्रकरण की शिकायत ऊर्जा विभाग में भी भेजी गई थी, जिसमें जाँच के आदेश होने के बाद जाँच समिति गठित की गई थी, मगर लॉकडाउन के चलते यह जाँच नहीं हो सकी। बताया जाता है कि इस मामले की जाँच कराने बिजली कंपनी के सीजीएम एचआर द्वारा 23 जून को एक नई समिति गठित की गई है।