CBI अधिकारी बन समलैंगिकों से वसूली करने वाले गिरोह का भंडाफोड

CBI अधिकारी बन समलैंगिकों से वसूली करने वाले गिरोह का भंडाफोड

Anita Peddulwar
Update: 2018-05-05 11:40 GMT
CBI अधिकारी बन समलैंगिकों से वसूली करने वाले गिरोह का भंडाफोड

डिजिटल डेस्क,मुंबई। डीएन नगर पुलिस ने एक ऐसे गिरोह का भांडाफोड़ किया है जो खुद को सीबीआई अधिकारी बताकर समलैंगिकों को कार्रवाई का डर दिखाते थे और फिर उनसे जबरन पैसे वसूलते थे। मामले में दो आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है जबकि एक महिला समेत दो और आरोपी फरार हैं।  मामले में मनीष नगर इलाके में रहने वाले एक जिम ट्रेनर ने शिकायत दर्ज कराई थी। जिससे आरोपियों ने धमकाकर 50 हजार रुपए वसूले थे। मामले में गिरफ्तार आरोपियों के नाम विनायक राजन पुजारी और अलीम कादर शेख है। कोर्ट में पेशी के बाद दोनों आरोपियों को सोमवार तक पुलिस हिरासत में भेज दिया गया है। मामले में पुलिस को नीलम सावंत और समीर तोंडेकर नाम के आरोपियों की तलाश है। 

ऐप के जरिए करते थे दोस्ती
पुलिस ने बताया कि आरोपियों ने प्लानेट रोमियो और ग्रिंडर ऐप डाउनलोड कर रखे थे। इस ऐप का इस्तेमाल कर समलैंगिक एक दूसरे से चैटिंग करते हैं साथ ही पैसों के बदले शारीरिक संबंध बनाते हैं। मामले में गिरफ्तार पुजारी ने शिकायतकर्ता के साथ चैटिंग की थी और पैसे तय होने के बाद उनके घर शारीरिक संबंध बनाने के बहाने पहुंचा था।

दोस्त आते थे सीबीआई अधिकारी बनकर
पुजारी शिकायतकर्ता के घर पहुंचा इसके थोड़ी देर बाद ही महिला समेत उसके तीन दोस्त वहां आ धमके। उन्होंने शिकायतकर्ता से कहा कि हम सीबीआई अधिकारी हैं और हमें जानकारी मिली है कि इस घर में सेक्स रैकेट चलता है। इस घर को तुरंत सील किया जाएगा। इसके बाद आरोपियों ने कार्रवाई न करने के लिए रूपए मांगे और 50 हजार लेकर रफूचक्कर हो गए। 

एक्टर बना चीटर
पुलिस ने बताया कि मामले में गिरफ्तार पुजारी अभिनेता है। उसने हाईवे किलर नाम की एक लघु फिल्म में पुलिसवाले की भूमिका की थी। इसी दौरान उसने अपनी वर्दी में तस्वीर निकाली थी। इसी तस्वीर को वह अपने मोबाइल के स्क्रीन पर रखता था। जिससे शिकार को उसके दावे पर भरोसा हो जाए। 

शर्म के मारे नहीं करते लोग शिकायत
अब तक की छानबीन में खुलासा हुआ है कि आरोपियों ने बोरिवली, जोगेश्वरी, कुलाबा, दादर, लोअर परेल, वाशी और मुंबई सेंट्रल जैसे इलाकों के एक दर्जन से ज्यादा समलैंगिकों से ठगी की है। आरोपी पिछले छह महीने से इस तरह की वारदात अंजाम दे रहे थे। लेकिन लूटपाट का शिकार होने वालों ने शिकायत तक नहीं दर्ज कराई। पुलिस के मुताबिक सामाजिक वजहों से लोग इस तरह के मामलों में शिकायत करने में संकोच करते हैं आरोपी इसी बात का फायदा उठा रहे थे।  
  

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