अनाज खरीदी व बिक्री करने वाली फर्मों का भौतिक सत्यापन जांच के घेरे में

अनाज खरीदी व बिक्री करने वाली फर्मों का भौतिक सत्यापन जांच के घेरे में

Bhaskar Hindi
Update: 2017-09-11 11:45 GMT
अनाज खरीदी व बिक्री करने वाली फर्मों का भौतिक सत्यापन जांच के घेरे में

डिजिटल डेस्क, छिंदवाड़ा। कृषि उपज मंडी कुसमेली क्षेत्र में अनाज खरीदी व बिक्री करने वाली फर्मों का भौतिक सत्यापन मंडी कर्मचारियों ने कार्यालय में ही बैठकर कर दिया। जबकि मंडी कार्यालय जबलपुर के डीडी नागेश सिंह ने व्यापारियों के गोदाम व फर्मों का भौतिक सत्यापन करने का आदेश दिया था। कई फर्मों द्वारा सीधे खरीदी कर टैक्स चोरी की शिकायत अधिकारियों को मिल रही थी। जिसके बाद भौतिक सत्यापन के आदेश हुए थे।

मंडी प्रबंधन ने भौतिक सत्यापन के लिए टीम का गठन भी किया, लेकिन कर्मचारियों से सांठगांठ रखने वाली फर्मों का भौतिक सत्यापन कार्यालय में बैठकर ही कर दिया गया जबकि गिनी चुनी फर्मों की जांच करने मंडी कर्मचारी पहुंचे थे। गौरतलब है कि पूर्व में मिर्ची व्यापारियों की फर्मों की जांच व भौतिक सत्यापन के दौरान अनियमितताएं मिली थी तथा मंडी को लाखों का टैक्स मिला था। भौतिक सत्यापन के नाम पर हुई खानापूर्ति ने मंडी प्रबंधन की कार्यशैली पर कई सवाल खड़े कर दिए हैं।

लगातार हो रहा अवैध परिवहन
वर्तमान समय में लगातार अनाज का अवैध परिवहन किया जा रहा है, जिससे मंडी को प्रतिमाह लाखों के टैक्स का नुकसान हो रहा है। सूत्रों की मानें तो पिछले 15 दिनों में कुसमेली मंडी क्षेत्र से एक दर्जन ट्रक अनाज का बेलापार बेरियर से अवैध परिवहन किया गया जिसमें कुसमेली व सौंसर मंडी के दो कर्मचारियों का नाम सामने आया है। संभागीय व स्थानीय मंडी उडऩदस्ता जिले में गश्त नहीं करते है जिसके कारण भी अवैध परिवहन बढ़ा है।

विवादित फर्म है शामिल
अवैध परिवहन का मामला हो या फिर फर्जी सील व बिल से परिवहन का मामला हो, इनमें कुसमेली मंडी की विवादित फर्मों का ही नाम सामने आ रहा है। जो मंडी के कर्मचारियों के साथ मिलकर टैक्स का नुकसान पहुंचा रहे हैं।

जबलपुर संभागीय मंडी कार्यालय के डीडी नागेश सिंह ने कहा है कि मंडी क्षेत्र अंतर्गत आने वाली फर्मों व गोदामों का भौतिक सत्यापन के आदेश दिए गए थे। 25 फर्मों का सत्यापन भी किया गया है, लेकिन उनमें क्या मिला इसकी जानकारी नहीं मिल पाई है।

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