सरकारी वकीलों की नियुक्तियों में आरक्षण लागू नहीं किए जाने पर सिंगल बैंच में होगी सुनवाई
सरकारी वकीलों की नियुक्तियों में आरक्षण लागू नहीं किए जाने पर सिंगल बैंच में होगी सुनवाई
डिजिटल डेस्क जबलपुर । राज्य सरकार द्वारा सरकारी वकीलों की नियुक्तियों में आरक्षण लागू नहीं किए जाने के मामले की सुनवाई सिंगल बैंच में होगी। एक्टिंग चीफ जस्टिस संजय यादव और जस्टिस विजय कुमार शुक्ला की डिवीजन बैंच ने प्रारंभिक सुनवाई के बाद याचिका को सिंगल बैंच के लिए रेफर कर दिया है। मामले की अगली सुनवाई 4 जनवरी को होगी। डिवीजन बैंच ने अपने आदेश में कहा कि याचिका में किसी रूल या अधिनियम को चुनौती नहीं दी गई है। यह याचिका सरकारी वकीलों की नियुक्तियों में आरक्षण लागू नहीं किए जाने के खिलाफ दायर की गई है, इसलिए इस मामले की सुनवाई का क्षेत्राधिकार सिंगल बैंच को है। ओबीसी एडवोकेट्स वेलफेयर एसोसिएशन की ओर से दायर याचिका में कहा गया है कि राज्य सरकार को सरकारी वकीलों की िनयुक्तियों में एससी, एसटी, ओबीसी और महिला आरक्षण लागू करने के लिए अभ्यावेदन दिया गया था। राज्य सरकार द्वारा दिए गए जवाब में कहा गया है कि सरकारी वकीलों की नियुक्ति में आरक्षण लागू नहीं किया जा सकता है। जवाब में कहा है कि सरकारी वकील लोक सेवक नहीं है, इसलिए सरकारी वकीलों की नियुक्तियों में आरक्षण लागू नहीं किया जा सकता है। अधिवक्ता रामेश्वर सिंह ठाकुर, मनीष वर्मा और विनायक प्रसाद ने सुप्रीम कोर्ट के आदेशों का हवाला देते हुए कहा कि सरकारी वकील का पद लोकसेवक का पद है। इसलिए सरकारी वकीलों की नियुक्ति में आरक्षण लागू किया जाना चाहिए। प्रारंभिक सुनवाई के बाद डिवीजन बैंच ने याचिका को सुनवाई के लिए सिंगल बैंच को रेफर कर दिया है।