24 साल बाद चुनाव के लिए महाराष्ट्र में होगा मतदान, तब से बदल चुके हैं नियम
राज्यसभा 24 साल बाद चुनाव के लिए महाराष्ट्र में होगा मतदान, तब से बदल चुके हैं नियम
डिजिटल डेस्क, मुंबई। दो दशक से अधिक समय में ऐसा पहली बार होगा, जब राज्य में संसद के उच्च सदन के लिए चुनाव होगा। इससे पहले ऐसा चुनाव 1998 में हुआ था, जहां पार्टी के पक्ष में पर्याप्त संख्या होने के बावजूद कांग्रेस उम्मीदवार राम प्रधान चुनाव हार गए थे। वर्ष 1998 में, गुप्त मतदान प्रणाली के अनुसार चुनाव हुआ था, जबकि इस बार मतदाताओं (विधायकों) को अपना मत मतपेटी में डालने से पहले पार्टी सचेतक को दिखाना होगा। नामांकन वापस लेने की अंतिम तिथि शुक्रवार दोपहर तीन बजे थी। भाजपा ने केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल, अनिल बोंडे और पूर्व सांसद धनंजय महादिक को चुनाव मैदान में उतारा है, जबकि शिवसेना ने संजय राउत और संजय पवार को प्रत्याशी बनाया है। एनसीपी ने प्रफुल्ल पटेल को टिकट दिया है, जबकि कांग्रेस ने इमरान प्रतापगढ़ी को मैदान में उतारा है। छठी सीट पर मुकाबला बीजेपी के महादिक और शिवसेना के संजय पवार के बीच है।
पार्टी सचेतक को दिखाना होगा वोट
राज्य के खाद्य और नागरिक आपूर्ति मंत्री और राकांपा के वरिष्ठ नेता छगन भुजबल ने बताया कि मतदाताओं को अपना वोट मतपेटी में डालने से पहले पार्टी सचेतक को दिखाना होगा।