पेंच-कन्हान की पांच कोयला खदानें वेकोलि की निगरानी सूची में शामिल

घाटे में चल रही खदानों में पदस्थ कामगारों पर स्थानांतरण का खतरा मंडराया  पेंच-कन्हान की पांच कोयला खदानें वेकोलि की निगरानी सूची में शामिल

Bhaskar Hindi
Update: 2021-10-25 09:49 GMT
 पेंच-कन्हान की पांच कोयला खदानें वेकोलि की निगरानी सूची में शामिल

डिजिटल डेस्क छिन्दवाड़ा/परासिया। पेंच क्षेत्र की चार में से तीन और कन्हान क्षेत्र की दो भूमिगत कोयला खदानों में कम उत्पादन के चलते वेकोलि प्रबंधन ने उन्हें निगरानी सूची में शामिल कर लिया है। इन खदानों में प्रति टन कोयला उत्पादन में 5 से 7 हजार रुपए का नुकसान हो रहा है। खदानों की मॉनीटरिंग कर सुरक्षित कोयला उत्पादन बढ़ाने का प्रयास हो रहे, घाटा कम नहीं हुआ तो बंद होने की आशंका बढ़ेगी। जिससे पेंचक्षेत्र में सिर्फ नेहरिया एक मात्र भूमिगत कोयला खदान रह जाएगी। वर्तमान में पेंचक्षेत्र में 2 हजार, 967 कामगार कार्यरत हैं। यहां चार भूमिगत कोयला खदानें हैं, जिसमें नेहरिया में 863, विष्णुपुरी नंबर-2 में 473, महादेवपुरी में 397 और माथनी में 288 कामगार कार्यरत हैं। कन्हान क्षेत्र में 2 हजार, 131 कामगार कार्यरत हैं। यहां दो भूमिगत कोयला खदानें हैं, जिसमें  तानसी में 803 और मुआरी में 587 कामगार कार्यरत हैं। नेहरिया को छोडकऱ शेष भूमिगत कोयला खदानों में लगातार कम कोयला उत्पादन के चलते घाटे में चल रही हैं। पेंचक्षेत्र में जमुनिया पठार और कन्हान क्षेत्र में शारदा खदान में सुरंग निर्माण जारी है। इन खदानों के शुरू होने तक दोनों क्षेत्रों में हजारों कामगारों पर स्थानांतरण की तलवार लटकेगी या वेकोलि इन कामगारों को बिना काम की तनख्वाह देगा।  
चार वर्षों में कोयला उत्पादन आधा हुआ

पेंचक्षेत्र में गत चार वर्षों में कोयला उत्पादन लगभग आधा हो गया। ओपन कास्ट माइंस की अपेक्षा अंडर ग्राउंड माइंस में पचास फीसदी से अधिक कोयला उत्पान हुआ है। वर्ष 2017-18 में 15 लाख, 35 हजार, 2 सौ टन उत्पादन होता था, जो वर्ष 2020-21 में सिर्फ 4 लाख, 68 हजार, 338 टन कोयला उत्पादन हुआ।
इनका कहना है...

* घाटे वाली खदानों की सूची में पेंच-कन्हान क्षेत्र की पांच खदानों को रखकर प्रबंधन उसकी मानीटरिंग कर रहा है। घाटा कम हो और उत्पादन बढ़े, इसके  लिए बीएमएस हर संभव सहयोग करने तैयार है। विश्वास है स्थिति में सुधार आएगा।
- कुंवर सिंह, महामंत्री- बीएमएस, पेंच-कन्हान क्षेत्र
* प्रबंधन खदानों को चालू रखने पर्याप्त संसाधन उपलब्ध नहीं करवा रहा, न ही उपलब्ध संसाधनों का उपयोग कर रहा। ऐसी  स्थिति ठीक नहीं है। खदानें बंद नहीं होने देंगे, जरूरी हुआ तो आंदोलन भी करेंगे।  
- सोहन वाल्मिक, कार्यकारी अध्यक्ष- इंटक, वेकोलि
* सुरक्षित कोयला उत्पादन करने लगातार प्रयास जारी है। पर्याप्त मेनपावर मौजूद है। आवश्यक सामग्री  और मशीनें भी उपलब्ध  करवा रहे, ताकि उत्पादन में घाट कम हो और फायदा बढ़े।
- एमसी सिन्हा महाप्रबंधक- संचालन, पेंचक्षेत्र
 

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