घमापुर-रांझी स्मार्ट रोड को मजाक बना दिया निगम ने, बीच की सड़क का टेंडर ही नहीं हुआ

घमापुर-रांझी स्मार्ट रोड को मजाक बना दिया निगम ने, बीच की सड़क का टेंडर ही नहीं हुआ

Bhaskar Hindi
Update: 2021-05-11 10:01 GMT
घमापुर-रांझी स्मार्ट रोड को मजाक बना दिया निगम ने, बीच की सड़क का टेंडर ही नहीं हुआ

लापरवाही : 25 करोड़ से बन रही सड़क, कहीं फुटपाथ नहीं बने तो कहीं सतपुला से गोकलपुर तक की योजना ही नहीं बनी

डिजिटल डेस्क जबलपुर । स्मार्ट सिटी योजना से करीब 25 करोड़ रुपयों की लागत से घमापुर-रांझी फोरलेन सड़क का निर्माण कराया जा रहा है। इसका कार्य वैसे तो करीब 3 सालों से चल रहा है, लेकिन  इसके पूरे होने में कई साल लग सकते हैं क्योंकि सड़क के एक हिस्से का अभी तक टेंडर ही नहीं हुआ है। 3 फेज में बनने वाली सड़क के दो फेज तो फिर भी पूरे होने की कगार पर हैं लेकिन सतपुला से लेकर गोकलपुर तक के हिस्से की डीपीआर ही नहीं बनी है। घमापुर से चुंगी तक की सड़क भी आधी-अधूरी है। स्मार्ट सिटी योजना से 24 करोड़ 30 लाख रुपयों से 4.7 किलोमीटर लम्बी घमापुर-रांझी फोरलेन सड़क के लिए मार्च 2018 में  वर्क ऑर्डर जारी कर दिया गया था और इसका कार्य कभी भी पूरी गति से नहीं कराया गया। रुक-रुककर होते निर्माण से अभी तक सड़क का करीब 60  फीसदी काम भी पूरा नहीं हो पाया है। घमापुर से चुंगी चौकी तक इस सड़क के निर्माण में अतिक्रमण एक बड़ी बाधा बने हुए हैं और अभी तक सभी चिन्हित अतिक्रमणों को हटाया नहीं जा सका है। यही कारण है कि जितनी जगह मिल रही है ठेकेदार ने भी उतने में ही काम करना शुरू कर दिया है। इस सड़क को 80 फीट की चौड़ाई में बनाने का निर्णय लिया गया था लेकिन इतनी चौड़ाई कई जगह नहीं मिल पा रही है। नगर निगम का अमला अतिक्रमण हटाने का प्रयास करता है तो नेता सामने आ जाते हैं और कार्रवाई रुक जाती है।  
गोकलपुर में फुटपाथ गायब 
 फोरलेन सड़क का सबसे अधिक कार्य रांझी की ओर से ही कराया गया और गोकलपुर तक सड़क का अधिकांश कार्य हो भी चुका है, लेकिन गोकलपुर में सड़क घरों और दुकानों की दहलीज तक पहुँच गई है जिससे फुटपाथ के लिए अब जगह नहीं बची है। फुटपाथ बनाने के लिए अब लोगों के निर्माण तोडऩे पड़ेंगे लेकिन यह कार्य भी नेतागिरी में उलझ गया है। गोकलपुर में नाली और डिवाइडर का काम हो चुका है। 
कब टेंडर होगा, कब बनेगी सड़क 
करीब 5 किलोमीटर लम्बी इस सड़क का एक बेहद अहम हिस्सा सतपुला यानी चुंगी से गोकलपुर का है जो 1 किलोमीटर से थोड़ा अधिक ही माना जाएगा। इसका अभी तक टेंडर ही नहीं हुआ है। सड़क का यह हिस्सा जीसीएफ की जमीन पर है और निगम अनुमति के फेर में उलझा हुआ है जबकि जीसीएफ प्रबंधन ने पूर्व में यह आश्वासन दिया था कि सड़क जनहित के लिए जरूरी है इसलिए इसका निर्माण किया जाए उसे कोई आपत्ति नहीं है लेकिन इसके बाद भी नगर निगम ने योजना नहीं बनाई। 
पुलिया हो रही चौड़ी
 नगर निगम ने घमापुर के पास रामलीला मैदान के पास पुलिया को तोड़कर चौड़ा करने का कार्य भी शुरू कर दिया है और उसका एक हिस्सा बन भी गया है लेकिन इसके बाद भी आगे के कार्य को तेज गति से नहीं कराया जा रहा है। सबसे बड़ी बात जब सड़क के बीच का हिस्सा ही नए सिरे से नहीं बनाया जाएगा तो आधी-अधूरी सड़क किस काम की रहेगी।
 

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