कश्मीर में तनाव के बीच अल्पसंख्यकों को भरोसा दिलाने की जरूरत
कश्मीर में तनाव के बीच अल्पसंख्यकों को भरोसा दिलाने की जरूरत
- उन्होंने कहा कि कश्मीर में मौजूदा तनाव के मद्देनजर घाटी में रहने वाले अल्पसंख्यक समुदाय के लोगों को भरोसा दिलाना जरूरी है कि उनके साथ कोई अनहोनी नहीं होगी
- कलहाना सोसायटी के महासचिव सतीश महलदार ने कश्मीर के मौजूदा हालात पर अल्पसंख्यकों की सुरक्षा का मुद्दा उठाया है
महलदार की ओर से जारी एक बयान में कहा गया, अल्पसंख्यकों को डर है कि निहित स्वार्थ और नुकसान के लिए उनके खिलाफ सुनियोजित प्रयास किए जा सकते हैं। इसलिए उनका अनुरोध है कि उनके डर को दूर करने के लिए सरकार व आम लोगों के साथ-साथ धार्मिक और राजनीतिक नेताओं को भी आश्वस्त करने वाला संदेश देना चाहिए।
बयान में कहा गया, जम्मू एवं कश्मीर की सरकार घाटी में सुरक्षित माहौल बनाने के लिए विशेष उपाय कर रही है, लेकिन अल्पसंख्यकों की सुरक्षा अभी भी चिंता का विषय है।
उन्होंने कहा, यह अनुरोध घाटी के स्थानीय बहुसंख्यक लोगों से है कि वे यहां रहने वाले अल्पसंख्यक समुदाय को आश्वस्त करें। स्थानीय लोगों ने अमरनाथ यात्रियों और पर्यटकों को मदद एवं शरण देने के लिए वास्तव में एक बड़ा दिल दिखाया है।
उन्होंने कहा, यह सभी जानते हैं कि कश्मीरी लोग निजी अतिथि भाव और सेवा करने का भाव रखते हैं। इसमें कोई संदेह नहीं है कि वे वहां रहने वाले अल्पसंख्यकों की सुरक्षा सुनिश्चित करेंगे।
महलदार ने कहा, अल्पसंख्यक समुदाय के बहुत से लोग सरकार द्वारा बनाए गए शिविरों में या अलग-अलग घरों में रह रहे हैं। बहुसंख्यक समुदाय के धार्मिक एवं राजनीतिक नेताओं के लिए यह महत्वपूर्ण है कि वे भय और अनिश्चितता के इस समय में उन्हें आश्वस्त करें।
--आईएएनएस