कोविड-19: सलाइवा न होने पर स्टार्क को बल्ले और गेंद के बीच संतुलन बिगड़ने का डर

कोविड-19: सलाइवा न होने पर स्टार्क को बल्ले और गेंद के बीच संतुलन बिगड़ने का डर

IANS News
Update: 2020-05-26 13:01 GMT
कोविड-19: सलाइवा न होने पर स्टार्क को बल्ले और गेंद के बीच संतुलन बिगड़ने का डर

डिजिटल डेस्क, सिडनी। गेंद को चमकाने के लिए सलाइवा पर बैन लगाया जाता है तो इससे खेल में लोगों की रुचि कम होगी। यह मानना है आस्ट्रेलिया के तेज गेंदबाज मिशेल स्टार्क का। 30 साल के स्टार्क ने कहा है कि बीते दो साल में आस्ट्रेलिया में जिस तरह की विकेट तैयार की जा रही हैं उसे देखते हुए सलाइवा का उपयोग प्रतिस्पर्धा को बनाए रखने के लिए बेहद जरूरी है।

स्टार्क ने संवाददाताओं से एक वीडियो इंटरव्यू में कहा, बल्ले और गेंद के बीच जो प्रतिस्पर्धा होती है, हम उसे खोना नहीं चाहते। इसलिए गेंद को स्विंग कराने के लिए कुछ तो होना चाहिए। उन्होंने कहा, उन्होंने कहा है कि यह सिर्फ कुछ दिनों के लिए होगा और जैसे ही विश्व सामान्य स्थिति में लौटेगा सलाइवा का उपयोग किया जा सकेगा।

आईसीसी की क्रिकेट समिति ने कोविड-19 के बाद खेल के दोबारा शुरू होने पर सलाइवा को बैन करने की सिफारिश की है। बाएं हाथ के इस गेंदबाज ने कहा, हम इसे खोना नहीं चाहते और न ही इसे कम होते हुए देखना चाहते हैं। इसलिए गेंद को स्विंग कराने के लिए कुछ तो होना चाहिए। उन्होंने कहा, अन्यथा लोग इसे दखेंगे नहीं और बच्चे गेंदबाज नहीं बनना चाहेंगे। आस्ट्रेलिया में बीते कुछ साल में हमने काफी फ्लेट विकेट देखी हैं और अगर गेंद सीधी जाती है तो यह काफी बोरिंग होगा।

 

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