भारत में वित्त पोषण का भविष्य डिजिटाइजेशन से

Digitization is the future of funding in India: Sitharaman
भारत में वित्त पोषण का भविष्य डिजिटाइजेशन से
सीतारमण भारत में वित्त पोषण का भविष्य डिजिटाइजेशन से
हाईलाइट
  • भारत में वित्त पोषण का भविष्य डिजिटाइजेशन से : सीतारमण

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने मंगलवार को कहा कि भारत में वित्त पोषण का भविष्य डिजिटलीकरण से संचालित होने जा रहा है। उन्होंने कहा कि अकेले जुलाई 2022 में, 10.6 ट्रिलियन रुपये के 6.2 अरब लेनदेन किए गए। उन्होंने यहां फिक्की लीड्स शिखर सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा कि यूपीआई का लक्ष्य अगले पांच वर्षो में एक दिन में एक अरब लेनदेन का लक्ष्य हासिल करना है।

सीतारमण ने कहा कि भले ही आज ग्रामीण क्षेत्रों में कोई बैंक शाखा नहीं हैं, वित्तीय सेवाओं के डिजिटलीकरण के कारण लोग बैंकिंग सुविधाओं तक पहुंच पा रहे हैं। वित्त मंत्री ने यह भी कहा कि आर्थिक अपराधों का पता लगाने में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस की भूमिका अहम होगी।

उन्होंने आगे कहा कि अब वाणिज्यिक बैंकों द्वारा खाता एकत्रीकरण की पद्धति का उपयोग किया जा रहा है। सीतारमण ने कहा कि अब 1.1 अरब बैंक खाते एग्रीगेटर्स पर अपना डेटा शेयर कर रहे हैं। खाता एकत्रीकरण, जिसे वित्तीय डेटा एकत्रीकरण के रूप में भी जाना जाता है, एक ऐसी विधि है जिसमें विभिन्न खातों से जानकारी संकलन शामिल है, जिसमें बैंक खाते, क्रेडिट कार्ड खाते, निवेश खाते और अन्य उपभोक्ता या व्यावसायिक खातों को एक ही स्थान पर शामिल किया जा सकता है।

वित्त मंत्री ने आगे कहा कि फिनटेक संस्थाओं से जुड़े स्टार्टअप बढ़ रहे हैं, यह कहते हुए कि 87 प्रतिशत फिनटेक कंपनियां डिजिटल तकनीकों को अपना रही हैं। उन्होंने कहा कि सरकार ने कागज रहित बैंकिंग और डिजिटल भुगतान की दिशा में कदम उठाए हैं। उन्होंने कहा कि डिजिटलीकरण ने परत दर परत सिस्टम में प्रवेश किया है और अब भौतिक उपस्थिति की आवश्यकता नहीं है।

सोर्सः आईएएनएस

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Created On :   20 Sept 2022 6:30 PM IST

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