MP : विधानसभा सत्र पूरे समय चले, BSP विधायकों की मांग

BSP demands  session of Madhya Pradesh assembly work full time
MP : विधानसभा सत्र पूरे समय चले, BSP विधायकों की मांग
MP : विधानसभा सत्र पूरे समय चले, BSP विधायकों की मांग

डिजिटल डेस्क,भोपाल। राजस्थान के उदयपुर में 8 और 9 जनवरी को आयोजित 18वी ऑल इंडिया व्हीप कॉन्फ्रेंस में मध्य प्रदेश विधानसभा से सिर्फ बसपा के तीन विधायक पहुंचे और सत्तारुढ़ भाजपा और मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस के विधायक नदारद रहे। बसपा विधायकों ने इस कॉन्फ्रेंस में मांग की कि मप्र विधानसभा का सत्र जितनी अवधि के लिए बुलाया जाता है उतनी अवधि तक ही चले और समय से पूर्व खत्म न हो। इसके अलावा विपक्षी विधायकों को वेल यानि सदन के गर्भगृह में जाकर विराकध प्रदर्शन करने का अधिकार भी मिले।

गौरतलब है कि भारत सरकार का संसदीय कार्य विभाग हर साल व्हीप कॉन्फ्रेंस आयोजित करता है। इस बार केंद्रीय संसदीय कार्य मंत्री अनंत कुमार ने राजस्थान के उदयपुर में इसका आयोजन किया था। इसमें देश के सभी राज्यों की विधानसभाओं के दलीय नेता एवं व्हीप यानि सचेतक एवं सह सचेतक आमंत्रित किए जाते हैं। इस बार इस कॉन्फ्रेंस में मप्र विधानसभा से सिर्फ बसपा विधायक दल के नेता सत्यप्रकाश सखवार विधायक अम्बाह जिला मुरैना, सचेतक ऊषा चौधरी विधायक रैगांव जिला सतना तथा सह सचेतक शीला त्यागी विधायक मनगवां जिला रीवा ही पहुंची थीं। सत्तारुढ़ भाजपा के संसदीय कार्य मंत्री नरोत्तम मिश्रा व राज्य मंत्री शरद जैन और मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस के विधायक मुख्य सचेतक रामनिवास रावत एवं सह सचेतक कुंवर विक्रम सिंह इस कॉन्फ्रेंस में नहीं गए।

बसपा विधायक दल के नेता सत्यप्रकाश सखवार ने बताया कि उन्होंने इस कॉन्फ्रेंस में अपनी बात यह रखी है कि नौकरशाही पर लगाम नहीं होने से वह विधायकों एवं सांसदों की बात नहीं सुन जाती है। विधानसभा में उठाए गए सवालों का सही जवाब पेश नहीं किया जाता है। क्षेत्र की समस्याओं को याचिका के माध्यम से विधानसभा में रखना होती है तथा याचिका शब्द एक प्रकार की भीख मांगना जैसा है और इस पर प्रभावी कार्यवाही भी नहीं होती है। सदन से बहिर्गमन करना और सदन के गर्भगृह में जाकर विरोध प्रदर्शन करना विपक्षी विधायकों का विपशेषाधिकार होता है जिसे खत्म नहीं किया जाना चाहिए।

बसपा विधायक ऊषा चौधरी ने कॉन्फ्रेंस में विषय उठाया कि विधानसभा सत्र जल्द खत्म नहीं किया जाना चाहिए तथा जितने समय के लिए इसे बुलाया जाता है उतना चलना चाहिए और समय से पूर्व खत्म नहीं होना चाहिए। बिना विपक्ष के सदन नहीं चलाना चाहिए। विपक्ष जनहित के मुद्दे रखने के लिए सदन से बाहर चला जाता है परन्तु इसका मतलब यह नहीं कि सत्र ही समयपूर्व खत्म कर दिया जाए। इससे विपक्षी विधायकों की क्षेत्र की समस्याओं का हल नहीं हो पाता है। चौधरी ने कहा कि उन्होंने गोवा में आयोजित 16वीं कॉन्फ्रेंस एवं विशाखपट्टनम में आयोजित 17वीं कॉन्फ्रेंस में भी भाग लिया था। 

मप्र विधानसभा उप सचिव पुनीत श्रीवास्तव का कहना है कि व्हीप कॉन्फ्रेंस केंद्रीय संसदीय कार्य विभाग आयोजित करता है तथा राज्य के संसदीय कार्य विभाग के माध्यम से ही विधानसभा के सचेतक एवं सह सचेतक इसमें भाग लेते हैं। विधानसभा सचिवालय सिर्फ उनके भत्तों आदि का भुगतान करता है। कॉन्फ्रेंस में जाने या न जाने का अधिकार संबंधित सचेतक या सह सचेतक का होता है।

 

Created On :   13 Jan 2018 10:11 AM IST

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