भुगतान पर आपत्ति पड़ी महंगी, नगर निगम लेखा अधिकारी निलंबित

Collector suspended accounting officer of Municipal Corporation
भुगतान पर आपत्ति पड़ी महंगी, नगर निगम लेखा अधिकारी निलंबित
भुगतान पर आपत्ति पड़ी महंगी, नगर निगम लेखा अधिकारी निलंबित

डिजिटल डेस्क कटनी । शहर की सफाई के लिए नियुक्त एजेंसी एमएसडब्ल्यू सहित विभिन्न भुगतान रोकने पर नगर निगम कटनी के लेखा अधिकारी रोहित परौहा को कलेक्टर ने निलंबित कर दिया है। परौहा के स्थान पर सहायक कोषालय अधिकारी अमित सोनी को प्रभार दिया गया है। पिछले दिनों भुगतान को लेकर एमएसडब्ल्यू के कर्मचारियों की हड़ताल से शहर की सफाई व्यवस्था चौपट हो गई थी। कलेक्टर विशेष गढ़पाले ने मंगलवार को स्वच्छता को लेकर नगर निगम के अधिकारी, कर्मचारियों की बैठक ली थी। जिसमें यह बात सामने आई थी कि लेखा अधिकारी द्वारा भुगतान पर रोक लगाई गई है। नगर निगम कटनी के कमिश्नर संजय जैन ने लेखाधिकारी के निलंबन की पुष्टि करते हुए बताया कि एमएसडब्ल्यू सहित विभिन्न भुगतानों में रोक लगाने एवं लगातार अनुपस्थित रहने पर कलेक्टर द्वारा निलंबन की कार्रवाई की गई है।
देयकों पर लगाई थी आपत्ति
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार नगर निगम के लेखा अधिकारी ने एमएसडब्ल्यू सहित विभिन्न देयकों पर आपत्ति लगाई थी। लेखा अधिकारी को तर्क था कि सभी देयक शासन की गाइड लाइन के अनुसार प्रस्तुत किए जाएं। नियमों का पालन नहीं करने पर भुगतान रोक दिया गया था। लेखा अधिकारी नियमों का पालन कराने में तो सफल हुए नहीं वरन निलंबन की सजा अवश्य मिल गई।
इंदिरा वार्ड का सफाई दरोगा सस्पेंड
साफ-सफाई और स्वच्छता के कार्य में लापरवाही बरतना इंदिरा गांधी वार्ड के प्रभारी वार्ड दरोगा को भारी पड़ा। नगर निगम आयुक्त संजय जैन ने लचर कार्यप्रणाली, उदासीनता और कार्य में लापरवाही बरतने पर प्रभारी वार्ड दरोगा दीपक मलिक को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया है। जिसका प्रभार वार्ड दरोगा राजेश कुन्डे को दिया गया है। सोमवार को इंदिरा गांधी वार्ड में स्थित न्यू बस स्टेंड में स्वच्छ भारत मिशन के तहत जागरुकता कार्यक्रम आयोजित होना था। जिसमें स्थानीय व्यापारियों को स्वच्छता के प्रति जागरुक करने और स्वच्छता अभियान में उनकी सहभागिता सुनिश्चित कराने के लिये विभिन्न गतिविधियां आयोजित होनी थीं लेकिन इस कार्यक्रम में भी प्रभारी वार्ड दरोगा अनुपस्थित रहे।
बताया जाता है कि एमएसडब्ल्यू सहित सीवर लाइन के ठेकेदार को किए गए भुगतान को लेकर नगर निगम में आरटीआई के तहत 11 आवदेन में लगे हैं। इन आवेदनों पर नगर निगम द्वारा जानकारी देने में हीलाहवाली की जा रही है और मामला राज्य सूचना आयोग तक पहुंच गया है। डेढ़ माह पहले राज्य सूचना आयुक्त ने सभी 11 आवेदनों जानकारी देने के निर्देश दिए हैं। इस मामले में  अगली सुनवाई दो फरवरी को है। राज्य सूचना आयुक्त ने समय सीमा में जानकारी नहीं देने पर लोक सूचना अधिकारी पर शास्ति लगाने की चेतावनी दी है।

 

Created On :   18 Jan 2018 1:16 PM IST

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