अब ग्राहक आसानी से जान सकेंगे होटल और ढाबों में भोजन की गुणवत्ता

Now customers will be able to easily know the quality of food in hotels and dhabas
अब ग्राहक आसानी से जान सकेंगे होटल और ढाबों में भोजन की गुणवत्ता
अब ग्राहक आसानी से जान सकेंगे होटल और ढाबों में भोजन की गुणवत्ता

डिजिटल डेस्क कटनी । होटलों या ढाबों में खाने के शौकीन लोगों के लिए यह अच्छी खबर है कि अब भोजन की गुणवत्ता वे बगैर खाए ही जान सकेंगे। थ्री स्टॉर और फाइव स्टार की तर्ज पर होटलों में हाईजेनिक रेटिंग की शुरुआत कर दी गई है। इसके तहत जिले के दस होटलों को हाईजेनिक के मापदण्डों में शामिल करने का लक्ष्य खाद्य सुरक्षा विभाग को मिला है। पॉयलट प्रोजेक्ट के तौर में विभाग के अधिकारी होटल संचालकों के साथ बैठक कर हाईजेनिक के उन चेेक लिस्टों को समझा दिए हैं। जिसके तहत होटल ग्राहकों की नजर में और खरा उतरेंगे।
पांच तरह का ग्रेड
हाईजेनिक रेटिंग में पांच तरह का ग्रेड शामिल किया गया है। जिसमें पूरे मापदण्ड पर खरा उतरने पर होटल को फस्र्ट रैंक दिया जाएगा। खाद्य सुरक्षा अधिकारियों ने बताया कि इसके लिए होटल संचालकों को स्वयं आवेदन देना होगा। इस आवेदन में उन बिंदुओ की जानकारी एक निर्धारित प्रपत्र में होटल संचालक देंगे। जिसके आधार पर वे इस परीक्षा में पास या फे ल हो सकते हैं। आवेदन के बाद खाद्य सुरक्षा अधिकारियों की यह जिम्मेदारी रहेगी कि वे इसे क्रास चेक करें। क्रास चेक के बाद रैंकिंग दिए जाने का काम किया जाएगा।
बताएगा  डिस्प्ले बोर्ड
होटल में लगा यह डिस्प्ले बोर्ड ही ग्राहकों को बता देगा कि वहां पर किस तरह से खाना बनाने का काम किया जा रहा है। इसमें फूड लाइसेंस को अनिवार्य
किया गया है तो फूड सेफ्टी सुपरवाइजर भी अलग से तैनात होगा। जिस किचन में खाना पक रहा है। वहां पर किस तरह की व्यवस्था है। इसकी जानकारी भी डिस्प्ले बोर्ड में रहेगी। सबसे अच्छी बात यह है कि होटलों में नॉन-वेज और वेज की सामग्री को अलग-अलग फ्रिज में रखना पड़ेगा।
छह माह में पानी की जांच
खाना बनाने में सबसे अधिक पानी का उपयोग होता है। पानी पूरी तरह से स्वच्छ रहे। जिसके लिए साल भर में दो बार पानी का परीक्षण होटल संचालकों
को करना पड़ेगा। रासायनिक परीक्षण में यह पता चलेगा कि पानी में कौन-कौन से आवश्यक तत्वों की कमीं है। रैकिंग मिलने के बाद खाद्य सुरक्षा अधिकारियों का यह दायित्व होगा कि वे समय-समय पर निरीक्षण करते हुए इसका पालन होटल या फिर ढाबा संचालकों को कराएं। किचन में काम करने वाले कर्मचारियों का भी स्वास्थ्य परीक्षण का रिपोर्ट देना पड़ेगा।
इनका कहना है
होटल और ढाबे के लिए हाईजेनिक रैंकिंग की शुरुआत की गई है। जिले के दस होटलों का लक्ष्य मिला हुआ है। इसकी जानकारी होटल संचालकों को दी जा चुकी है।
- डी.के.दुबे, खाद्य सुरक्षा अधिकारी
 

Created On :   16 Dec 2019 2:20 PM IST

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