Ashada Gupt Navratri 2025: कल से शुरू होंगी आषाढ़ गुप्त नवरात्रि, विधि- विधान से करें 10 महाविद्याओं की पूजा

कल से शुरू होंगी आषाढ़ गुप्त नवरात्रि, विधि- विधान से करें 10 महाविद्याओं की पूजा
  • गुप्त नवरात्रि माघ और आषाढ़ महीने में आती है
  • आषाढ़ मास में शुरुआत 26 जून से हो रही है
  • गुप्त नवरात्रि का समापन 04 जुलाई को होगा

डिजिटल डेस्क, भोपाल। हिंदू धर्म का नवरात्रि (Navratri) का बड़ा महत्व है, जिसमें मां दुर्गा के 9 स्वरूपों की पूजा की जाती है। लेकिन इसके अलावा दो नवरात्रि और साल में आते हैं, जो गुप्त नवरात्रि के नाम में जानी जाती है। गुप्त नवरात्रि माघ और आषाढ़ महीने में आती है। फिलहाल, आषाढ़ मास चल रहा है और इस महीने के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि से नवमी तक चलती है। फिलहाल, इसकी शुरुआत 26 जून 2025, गुरुवार से होने वाली है और इनका समापन 04 जुलाई को होगा।

पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, गुप्त नवरात्रि में माता के नौ स्वरूपों के साथ दस महाविद्याओं यानी मां काली, मां तारा, मां त्रिपुर सुंदरी, मां भुवनेश्वरी, मां छिन्नमस्ता, मां त्रिपुरा भैरवी, मां धूमावती, मां बगलामुखी, मां मातंगी और मां कमला की उपासना की जाती है।

ऐसा माना जाता है कि गुप्त नवरात्रि में इन देवियों की गुप्त रूप से आराधना और पूजन करने पर जातक की समस्त मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं। गुप्त नवरात्रि में अघोरी और तांत्रिक गुप्त महाविद्याओं को सिद्ध करने के लिए विशेष रूप से पूजा- अर्चना करते हैं, धार्मिक मान्यताओं के अनुसार मनचाहा वरदान मिलने के साथ ही मोक्ष की भी प्राप्ति होती है।

गुप्त नवरात्रि में दुर्गा सप्तशती का पाठ करने से भक्तों को शुभ फलों की प्राप्ति होती है। वहींं, प्रथम दिन मां काली, दूसरे दिन मां तारा, तीसरे दिन मां त्रिपुरा सुंदरी, चौथे दिन मां भुवनेश्वरी, पांचवें दिन मां छिन्नमस्ता, छठे दिन मां भैरवी, सातवें दिन मां धूमावती, आठवें दिन मां बगलामुखी, नौवें दिन मां मातंगी देवी और मां कमला की साधना करने का विधान है, जिससे माता रानी की विशेष कृपा प्राप्त होती है।

गुप्त नवरात्रि में शक्ति के विभिन्न रूपों की पूजा होती है। इस दौरान भक्त देवी का आशीर्वाद और आध्यात्मिक विकास पाने के लिए उपवास रखते हैं, मंत्र पढ़ते हैं और पूजा करते हैं। कहा जाता है कि इस दौरान माता की आराधना करने से सिद्धि प्राप्त होती है। नवग्रहों की शांति की लिहाज से भी गुप्त नवरात्रि विशेष महत्व रखता है।

डिसक्लेमरः इस आलेख में दी गई जानकारी अलग अलग किताब और अध्ययन के आधार पर दी गई है। bhaskarhindi.com यह दावा नहीं करता कि ये जानकारी पूरी तरह सही है। पूरी और सही जानकारी के लिए संबंधित क्षेत्र के विशेषज्ञ (ज्योतिष/वास्तुशास्त्री/ अन्य एक्सपर्ट) की सलाह जरूर लें।

Created On :   25 Jun 2025 5:55 PM IST

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