गोरखपुर में नई उम्मीद: 45 वर्षीय दंपत्ति ने डॉ. शिखा टंडन की मदद से दोबारा पाया मातृत्व-पितृत्व का सुख

45 वर्षीय दंपत्ति ने डॉ. शिखा टंडन की मदद से दोबारा पाया मातृत्व-पितृत्व का सुख
गोरखपुर के मातृत्व फर्टिलिटी एंड आईवीएफ सेंटर में ऐसा ही एक अद्भुत चमत्कार हुआ, जब 45 वर्षीय दंपत्ति, जिन्होंने कुछ साल पहले सड़क दुर्घटना में अपना इकलौता बेटा खो दिया था, फिर से माता-पिता बनने का सपना पूरा कर पाए।

गोरखपुर (उत्तर प्रदेश): कहते हैं कि उम्मीद कभी खत्म नहीं होती। गोरखपुर के मातृत्व फर्टिलिटी एंड आईवीएफ सेंटर में ऐसा ही एक अद्भुत चमत्कार हुआ, जब 45 वर्षीय दंपत्ति, जिन्होंने कुछ साल पहले सड़क दुर्घटना में अपना इकलौता बेटा खो दिया था, फिर से माता-पिता बनने का सपना पूरा कर पाए।

कई सालों तक ग़म और खालीपन से जूझने के बाद, उम्र बढ़ने के कारण उन्होंने सोचा कि अब माता-पिता बनना संभव नहीं है। लेकिन डॉ. शिखा टंडन के मार्गदर्शन और अत्याधुनिक तकनीक की मदद से उनका सपना साकार हुआ।

“हमने सोचा था कि जिंदगी में फिर से खुशियां नहीं आएंगी। लेकिन डॉ. शिखा टंडन ने हमें न सिर्फ़ इलाज दिया बल्कि मानसिक रूप से भी संभाला। आज हमारी रिपोर्ट पॉज़िटिव आई है और हमारे घर फिर से खुशियों की दस्तक हुई है,” दंपत्ति ने खुशी जताते हुए कहा।

सिर्फ़ आईवीएफ नहीं, हर संभव तरीका अपनाती हैं डॉ. शिखा टंडन

डॉ. शिखा टंडन के पास 11+ वर्षों का अनुभव है और उन्होंने अब तक 10,000 से अधिक दंपत्तियों को माता-पिता बनने का सुख दिलाया है। उनकी सबसे बड़ी खासियत यह है कि वे हर मरीज के मामले को अलग मानती हैं।

“हर दंपत्ति की स्थिति अलग होती है। पहले हम पूरी जांच और डायग्नोसिस करते हैं, फिर उसी आधार पर सही विकल्प सुझाते हैं। अगर प्राकृतिक तरीके से गर्भधारण संभव है तो हम उसी को प्राथमिकता देते हैं।

कुछ मामलों में IUI कारगर होता है और जब अन्य रास्ते सफल नहीं होते तभी IVF की सलाह दी जाती है।

मेरा उद्देश्य सिर्फ़ इतना है कि हर दंपत्ति अपने घर में खुशियों की किलकारियां सुन सके,” डॉ. टंडन बताती हैं।

आईवीएफ और अन्य तरीकों को लेकर आम सवाल

प्रश्न 1: क्या हर दंपत्ति को आईवीएफ कराना पड़ता है?

उत्तर: बिल्कुल नहीं। कई बार दंपत्ति प्राकृतिक तरीके या IUI से भी गर्भधारण कर लेते हैं। आईवीएफ केवल तब ज़रूरी होता है जब अन्य तरीके सफल न हों।

प्रश्न 2: उम्र बढ़ने पर क्या मातृत्व संभव है?

उत्तर: जी हाँ। आधुनिक तकनीकों और सही मार्गदर्शन से 40 वर्ष से अधिक उम्र की महिलाओं को भीसफलता मिल सकती है।


प्रश्न 3: क्या आईवीएफ सुरक्षित है?

उत्तर: हाँ, यह सुरक्षित प्रक्रिया है, बशर्ते इसे अनुभवी विशेषज्ञ डॉक्टर की देखरेख में कराया जाए।

यह सफलता सिर्फ़ एक परिवार की कहानी नहीं है, बल्कि यह संदेश है कि सही डॉक्टर और सही तकनीक से हर उम्मीद हकीकत बन सकती है।

गोरखपुर और पूरे उत्तर प्रदेश के दंपत्तियों के लिए डॉ. शिखा टंडन मातृत्व की नई किरण हैं।

संपर्क करें:

मातृत्व फर्टिलिटी एंड आईवीएफ, सेकंड फ्लोर, अवध कॉम्प्लेक्स, कासिया रोड, बेतियाहाटा, गोरखपुर, उत्तर प्रदेश 273001

+91 91983 43331 | +91 91985 81555

www.drshikhatandon.com

⚠️ डिस्क्लेमर: यह लेख केवल जानकारी के उद्देश्य से है। हर दंपत्ति का मामला अलग होता है, इसलिए किसी भी निर्णय से पहले हमेशा योग्य विशेषज्ञ डॉक्टर से परामर्श अवश्य लें।

Created On :   14 Oct 2025 2:25 PM IST

Tags

और पढ़ेंकम पढ़ें
Next Story