दिल्ली में 'फूल वालों की सैर' के आयोजन को हरी झंडी, एलजी के दखल से मिली अनुमति

दिल्ली में फूल वालों की सैर के आयोजन को हरी झंडी, एलजी के दखल से मिली अनुमति
दिल्ली के 'फूल वालों की सैर' महोत्सव को लेकर लंबित पड़ी अनुमति आखिरकार मिल गई है। उपराज्यपाल वीके सक्सेना के दखल के बाद दिल्ली विकास प्राधिकरण (डीडीए) ने अंजुमन-ए-सैर-ए-गुल-फरोशां को इस ऐतिहासिक उत्सव को इसके पारंपरिक स्थल पर आयोजित करने की अनुमति दे दी है।

नई दिल्ली, 9 नवंबर (आईएएनएस)। दिल्ली के 'फूल वालों की सैर' महोत्सव को लेकर लंबित पड़ी अनुमति आखिरकार मिल गई है। उपराज्यपाल वीके सक्सेना के दखल के बाद दिल्ली विकास प्राधिकरण (डीडीए) ने अंजुमन-ए-सैर-ए-गुल-फरोशां को इस ऐतिहासिक उत्सव को इसके पारंपरिक स्थल पर आयोजित करने की अनुमति दे दी है।

दरअसल, इस वर्ष 'फूल वालों की सैर' महोत्सव का आयोजन अनुमति के अभाव में अटका हुआ था। इस मामले में उपराज्यपाल ने गंभीर संज्ञान लेते हुए संबंधित अधिकारियों को तुरंत रिपोर्ट पेश करने के निर्देश दिए। जांच में यह सामने आया कि डीडीए की ओर से अनुमति इसलिए लंबित रखी गई थी क्योंकि 28 नवंबर 2023 को तत्कालीन आम आदमी पार्टी (आप) सरकार के वन एवं पर्यावरण विभाग ने दक्षिण रिज क्षेत्र में ऐसे त्योहारों के आयोजन पर रोक लगा दी थी।

बता दें कि बीते कई वर्षों से डीडीए नियमित रूप से इस आयोजन की अनुमति देता रहा है। डीडीए ने 2024 में भी उक्त सरकारी आदेश के बावजूद 'फूल वालों की सैर' को आयोजित कराने में सहयोग किया था। हालांकि, इस बार आयोजकों ने लिखित अनुमति की मांग की थी, जिसके बाद उपराज्यपाल के दखल दिया और अब अनुमति दे दी गई।

उपराज्यपाल ने इस परंपरा को अनुमति से वंचित किए जाने पर कड़ी आपत्ति जताई। वे स्वयं पिछले तीन वर्षों से इस पर्व के अवसर पर ख्वाजा बख्तियार काकी की दरगाह और माता योगमाया मंदिर दोनों स्थानों पर व्यक्तिगत रूप से उपस्थित होते रहे हैं।

डीडीए ने इस तथ्य को ध्यान में रखते हुए कि 'फूल वालों की सैर' दिल्ली की विरासत और सांप्रदायिक एकता का प्रतीक आयोजन है, मामले की समीक्षा की। विस्तृत विचार-विमर्श के बाद पर्यावरण संरक्षण को प्राथमिकता देते हुए सशर्त अनुमति दी गई, जिससे पारिस्थितिक संतुलन और सांस्कृतिक परंपरा दोनों का संरक्षण सुनिश्चित किया जा सके।

अनुमति मिलने के बाद उपराज्यपाल ने इस मामले में उदासीन और गैर-जिम्मेदार रवैया अपनाने वाले अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई के निर्देश दिए हैं। उन्होंने दोहराया कि जनहित के विपरीत कार्य करने वाले किसी भी अधिकारी को बख्शा नहीं जाएगा।

डीडीए से अनुमति मिलने के बाद आयोजकों ने सूचित किया है कि 'फूल वालों की सैर' का आयोजन अब अगले वर्ष फरवरी-मार्च में किया जाएगा।

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Created On :   9 Nov 2025 4:25 PM IST

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