कानून: जासूसी मामले में गिरफ्तार यूट्यूबर ज्योति मल्होत्रा को बड़ा झटका, जमानत याचिका खारिज

जासूसी मामले में गिरफ्तार यूट्यूबर ज्योति मल्होत्रा को बड़ा झटका, जमानत याचिका खारिज
हरियाणा के हिसार की एक अदालत से यूट्यूबर ज्योति मल्होत्रा को बड़ा झटका लगा है। अदालत ने ज्योति की जमानत याचिका को खारिज कर दिया है। यह याचिका उनके वकील कुमार मुकेश की ओर से दाखिल की गई थी।

हिसार, 11 जून (आईएएनएस)। हरियाणा के हिसार की एक अदालत से यूट्यूबर ज्योति मल्होत्रा को बड़ा झटका लगा है। अदालत ने ज्योति की जमानत याचिका को खारिज कर दिया है। यह याचिका उनके वकील कुमार मुकेश की ओर से दाखिल की गई थी।

पाकिस्तान के लिए कथित तौर पर जासूसी के आरोपों में यूट्यूबर ज्योति मल्होत्रा को गिरफ्तार किया गया था, वह फिलहाल न्यायिक हिरासत में है। कोर्ट ने मामले की गंभीरता को ध्यान में रखते हुए फिलहाल उन्हें जमानत देने से इनकार कर दिया है।

जांच एजेंसियों का दावा है कि ज्योति मल्होत्रा भारत की संवेदनशील और गोपनीय सूचनाएं पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई (आईएसआई) को भेज रही थीं। जांच के दौरान यह भी सामने आया कि इन सूचनाओं के बदले ज्योति को आर्थिक लाभ दिया गया था। एजेंसियों के अनुसार, ज्योति मल्होत्रा सोशल मीडिया और यूट्यूब चैनल के जरिए कुछ ऐसी जानकारी साझा कर रही थीं, जो राष्ट्रीय सुरक्षा के लिहाज से बेहद संवेदनशील हैं।

इससे पहले, 26 मई को हिसार की एक अदालत ने ज्योति को न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया था। पुलिस रिमांड की अवधि पूरी होने के बाद ज्योति को अदालत में पेश किया गया, जहां से उसे जेल भेजने का आदेश दिया गया था।

ज्योति मल्होत्रा को 16 मई को सरकारी गोपनीयता अधिनियम और भारतीय दंड संहिता के प्रावधानों के तहत मामला दर्ज कर गिरफ्तार किया गया। वह उन 12 लोगों में शामिल थीं, जिन्हें जासूसी के संदेह में पंजाब, हरियाणा और उत्तर प्रदेश से गिरफ्तार किया गया था। बताया गया कि वह पाकिस्तानी उच्चायोग के कर्मचारी एहसान-उर-रहीम उर्फ दानिश के संपर्क में थीं। भारत ने कथित तौर पर जासूसी में लिप्त होने के कारण 13 मई को दानिश को देश से निष्कासित कर दिया था।

राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए), खुफिया ब्यूरो और सैन्य खुफिया अधिकारियों ने भी मल्होत्रा से पूछताछ की है। जांच से पता चला है कि वह पाकिस्तान, चीन, बांग्लादेश, इंडोनेशिया और कुछ अन्य देशों में गई थीं। पुलिस ने कहा था कि पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी मल्होत्रा को एक 'एसेट' के रूप में विकसित कर रही थी।

यह भी बताया गया कि 22 अप्रैल को पहलगाम आतंकवादी हमले के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच चार दिवसीय सैन्य संघर्ष के दौरान वह दानिश के संपर्क में थीं। जांच के दौरान पुलिस को ज्योति मल्होत्रा के लैपटॉप और मोबाइल से डिलीट की गई चैट मिली है। इससे पहले पुलिस ने उसके तीन मोबाइल फोन और एक लैपटॉप को फॉरेंसिक जांच के लिए भेजा था। मल्होत्रा के बैंक खातों की भी जांच की जा रही है।

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Created On :   11 Jun 2025 5:44 PM IST

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