अजब गजब: मौसम विभाग ही नहीं बल्कि भेड़ का झुंड भी करते हैं बारिश होने का इशारा, यहां जानें वजह

- भेड़ झुंड में देते हैं बारिश का संकेत
- भेड़ बिखरने का मतलब मौसम होने वाला है साफ
- अन्य जानवर भी देते हैं मौसम में बदलाव के संकेत
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। दुनिया में जानवरों की कई आबादियां हैं और हर जानवर कोई ना कोई संकेत जरूर देता है। कई पशु और पक्षी ऐसे होते हैं जो आपदा के आने से पहले ही संकेत दे देते हैं। ऐसा माना जाता है कि पशुओं इंद्रियां मनुष्यों की तुलना में ज्यादा सेंसिटिव होती हैं। इसलिए ही वे भूकंप, सुनामी या तूफान जैसी प्राकृतिक आपदाओं के आने से पहले ही समझ जाते हैं।
कुछ स्टडीज में ये भी खुलासा हुआ है कि, कुत्ते भूकंप आने से पहले भौंकने लगते हैं। ऐसे ही तूफान आने से पहले पक्षी भी बेचैन होने लगते हैं, या मछलियां भी गहरे पानी में चली जाती हैं। बारिश आने से पहले मेंढक भी बहुत शोर करते हैं। ऐसे ही बारिश और कोल्ड वेव से पहले भेड़ों को भी आभास हो जाता है।
भेड़ कैसे देती है मौसम का संकेत?
बता दें, भेड़ का इस्तेमाल ऊन बनाने या फिर मांस के लिए होता है। भेड़ मौसम के बारे में बताने के लिए भी काफी जरूरी होती हैं। अगर भेड़ झुंड में दिखाई दे रही हों तो भारी बारिश या हिमपात होने की संभावना बढ़ जाती है। वहीं भेड़ों का झुंड अगर बिखरा हुआ नजर आए तो समझिए कि मौसम साफ होने वाला है।
पक्षी भी बताते हैं बारिश की संभावना
भेड़ के अलावा भी की ऐसे पशु-पक्षी होते हैं जो मौसम में बदलाव का संकेत देते हैं। दीमक अगर ऊंचे स्थान पर जाने लगे या चीटियां अपने अंडों को लेकर ऊंचे स्थान पर जाने लगें तो यह भारी बारिश होने से पहले के संकेत हो सकता है। पक्षियों के बारे में जानें तो, इसमें टिटहरी के अंडों की संख्या और अंडे देने के स्थान से पता चलता है कि इस बार मानसून कैसा बीतने वाला है। ऐसा बताया जाता है कि अगर अंडे ऊंचे स्थान पर हों तो भारी बारिश के संकेत माने जाते हैं। अंडों की संख्या से ही बारिश के दिनों की संख्या का पता चलता है।
Created On :   22 Jun 2025 5:50 PM IST