अमरावती की इन खूबसूरत वादियों के 306 पॉइंट्स पर अब नहीं मिलेगी एंट्री, लगेंगे नो-एंट्री-नो सेल्फी के बोर्ड
अमरावती की इन खूबसूरत वादियों के 306 पॉइंट्स पर अब नहीं मिलेगी एंट्री, लगेंगे नो-एंट्री-नो सेल्फी के बोर्ड
डिजिटल डेस्क, अमरावती। बारिश का मौसम शुरू हो चुका है व जिले के विभिन्न पर्यटन स्थलों पर टूरिस्टों की धूम रहती है, लेकिन कुछ पर्यटन स्थल के एक दो प्वाइंट खतरनाक साबित होकर टूरिस्टों ने कदम रखते ही दुर्घटनाओं को न्यौता देते हैं। जिससे अब तक कई दुर्घटनाओं की खबरे सामने आयी है। ऐसी दुर्घटनाएं रोकने के लिए संभागीय आयुक्त ने 38 पर्यटन स्थलों के 306 जगहों पर "नो-एंट्री-नो सेल्फी" के फलक लगाने के निर्देश दे दिए हैं। जिसके चलते फलक लगाने का काम शुरू हो चुका है।
बता दें कि इन दिनों सेल्फी का क्रेज बच्चों से लेकर बुजुर्ग के अलावा युवाओं में अक्सर ज्यादा देखा जा रहा है, लेकिन सेल्फी के चक्कर में कईयों ने अब तक अपनी मौत को गले लगाया है। पर्यटन स्थलों पर बरसात शुरू होते ही टूरिस्टों की भीड़ उमड़ पड़ती है। ऐसे समय में अपने परिवार के साथ पर्यटन स्थल निकले लोग मोबाइल कैमरे में यादगार पल को कैद करना नहीं भूलते। कभी-कभार पर्यटन स्थलों पर पानी का धबधबा, झरना, गहरी व ऊंची चट्टानें भी रहती है। ऐसे में कई लोग अच्छी सेल्फी व फोटो के चक्कर में किनारों पर जाकर फोटो खिंचते है, और कई बार संतुलन बिगड़ जाने से बड़ी दुर्घटना का शिकार हो जाते हैं।
इसी बात को गंभीरता से लेते हुए संभागीय आयुक्त ने बीते दो माह पूर्व पर्यटन विभाग के अधिकारियों की मौजूदगी में बैठक ली थी। जहां पूरे पर्यटन स्थलों का जायजा लिया गया। जिसके बाद धारणी, चिखलदरा, मेलघाट सहित जिले के 38 पर्यटन स्थलों के 306 घातक जगहों पर पर्यटकों की इन्ट्री परो रोक लगाई गई है। इस संदर्भ में संभागीय आयुक्त ने पूर्व ही निर्देश दिए थे कि उन 306 स्थानों पर "नो-एंट्री-नो सेल्फी" के फलक लगा दिए जाए। इसका कामकाज शुरू हो चुका है।
पर्यटन विभाग खुद बनाएगा सेल्फी प्वॉइंट
पर्यटन स्थलों पर घातक जगहों पर सेल्फी के चक्कर में कोई दुर्घटना का शिकार ना हो, इसलिए पर्यटन विभाग खुद जिले के विभिन्न पर्यटन स्थलों पर सेल्फी प्वाइंट बनाने का मानस भी बनाया है।
2 साल में 22 लोगों की मृत्यु
सेल्फी का क्रेज दिनों-दिन बढ़ रहा है, लेकिन सेल्फी या फोटो के चक्कर में दो साल में 22 लोगों की मौत होने का आंकड़ा सामने आया है, जो कि काफी चिंताजनक है। हाल ही में परतवाड़ा तहसील अंतर्गत एक कुंड में मोबाइल से वीडिओ निकालने के चक्कर में चार युवकों ने जान गंवाई थी। ऐसे कई मामले गत दो वर्षों में देखे गए हैं।