सगी बहनों की हत्या करने वाले आरोपी गिरफ्तार

 सगी बहनों की हत्या करने वाले आरोपी गिरफ्तार

Bhaskar Hindi
Update: 2019-06-10 08:38 GMT
 सगी बहनों की हत्या करने वाले आरोपी गिरफ्तार

डिजिटल डेस्क, सतना। नागौद थाना क्षेत्र के सितपुरा बम्हौर स्थित बाबा ढाबा में 6 जुलाई की  देर रात अंधाधुंध फायरिंग कर 2 सगी बहनों चंपा और माया की हत्या के 3 में से 2 आरोपी बंटी उर्फ शिवांश त्रिपाठी और पवन उर्फ पुण्य प्रताप सिंह अब नागौद पुलिस गिरफ्त में हैं। जबकि इस वारदात में शामिल एक अन्य आरोपी उज्जवल फिलहाल फरार है। इस हमले में गंभीर रुप से घायल ढाबा संचालक अंगद जोशी का इलाज चल रहा है। प्रभारी पुलिस अधीक्षक गौतम सोलंकी ने बताया कि नागौद पुलिस के चौतरफा दबाव के कारण बंटी उर्फ शिवांश त्रिपाठी पिता राजेन्द(24 ) निवासी रेलवे फाटक मुख्त्यारगंज ने 8 जून को नागौद की अदालत में आत्मसमर्पण कर दिया। बंटी को पुलिस 14 जून तक रिमांड पर ले गई है। वारदात में प्रयुक्त लाल रंग की पल्सर बाइक भी जब्त कर ली गई है। आरोपी बंटी के खिलाफ इससे पूर्व जिला बदर  और 2 बार धारा 110 की भी कार्यवाही हो चुकी है। इसके खिलाफ कोलगवां थाने में 1 और सिटी कोतवाली में 7 अपराध दर्ज हैं। जबकि फरार  उज्जवल के विरुद्ध सिविल लाइन थाना में एक अपराध कायम है। 

दूसरा ऐसे आया पकड़ में 
एडीशनल एसपी ने बताया कि बंटी से पूछताछ के बाद हत्या के दूसरे आरोपी पवन उर्फ पुण्य प्रताप सिंह पिता मंगल (21) निवासी पतेरी और उज्जवल गुप्ता पिता चंद्रशेखर गुप्ता निवासी उमरी की पकड़ के लिए पुलिस पार्टियों की सक्रियता और भी बढ़ा दी गई। इसी बीच खबर मिली कि पवन उमरी मोड़ पर मौजूद है और कहीं बाहर भागने की कोशिश में है। खबर पर घेराबंदी करते हुए पवन को गिरफ्तार कर लिया गया। जबकि उज्जवल की तलाश जारी है। इस कामयाबी में नागौद के एसडीओपी रविशंकर पांडेय, नागौद थाना प्रभारी अजय सिंह पवार, एएसआई राजेन्द्र त्रिपाठी, पीएसआई देवेन्द्र झारिया, एएसआई अजय सिंह परिहार, आरक्षक आकाश द्विवेदी, पुष्पेन्द्र सिंह, निरंजन मेहरा, मोहित प्रजापति और धु्रवपाल ने अहम भूमिका निभाई। 

क्यों बिगड़ी बात 

पुलिस ने बताया कि तीनों आरोपी बाइक से बाबा ढाबा पहुंचे और अंगद जोशी से गांजा की पुडिय़ा मांगी। अगंद ने इंकार किया तो तीनों ने गालियां दीं। अंंगद ने विरोध किया तो बंटी त्रिपाठी ने पिस्टल से अंगद पर फायर कर दिया। अंगद की आवाज सुनकर उसकी पहली पत्नी चंपा घर से बाहर आई तो बंटी ने उस पर भी फायर कर दिया। चंपा दरवाजे पर ही ढेर हो गई। इसी बीच अंगद की दूसरी पत्नी माया ने जब भागने की कोशिश की तो उज्जवल ने उसका पीछा करते हुए कहा कि इसे भी खत्म कर दो। पवन सिंह ने माया को गोली मार दी। ढाबे से कुछ ही फासले पर उसकी भी मृत्यु हो गई।
 

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