मैं नोटबंदी का समर्थक था, लेकिन कितने लोगों को इसका फायदा मिला - नीतीश कुमार

मैं नोटबंदी का समर्थक था, लेकिन कितने लोगों को इसका फायदा मिला - नीतीश कुमार

Bhaskar Hindi
Update: 2018-05-27 12:06 GMT
मैं नोटबंदी का समर्थक था, लेकिन कितने लोगों को इसका फायदा मिला - नीतीश कुमार

डिजिटल डेस्क, पटना। मैं नोटबंदी का समर्थक था, लेकिन कितने लोगों को इसका फायदा मिला है? कुछ लोग अपना पैसा एक जगह से दूसरी जगह शिफ्ट कर ले गए। यह कहना है बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का। इतना ही नहीं उन्होंने कहा कि नोटबंदी से जितना लोगों को फायदा मिलना चाहिए था उतना नहीं मिला। नीतीश ने इसकी विफलता के लिए बैंकों को जिम्मेदार ठहराया। नीतीश कुमार पटना में राज्यस्तरीय बैंकर्स समिति द्वारा आयोजित समीक्षा बैठक को संबोधित कर रहे थे।

 

 

बैंकिग सिस्टम में बदलाव की जरुरत
नीतीश कुमार ने कहा, देश की प्रगति में बैंकों की बड़ी भूमिका है। बैंकों का काम सिर्फ जमा, निकासी और लोन देना ही नहीं रह गया है, बल्कि एक-एक योजना में बैंकों की भूमिका बढ़ गई है। उन्होंने कहा, बैंक से कर्ज लेने की बिहार के लोगों की ज्यादा आदत नहीं है, जो कर्ज लेना भी चाहते हैं, उसके बैंकों ने कड़े मापदंड तय कर रखे हैं। उसमें उन्हें काफी परेशानी होती है। नीतीश कुमार ने बैंकिंग सिस्टम में सुधार की जरुरत बताई। उन्होंने कहा, आप छोटे लोगों को लोन देने के लिए विशिष्ट हो जाते हैं लेकिन उन ताकतवर लोगों का क्या जो लोन लेकर गायब हो जाते हैं? यह आश्चर्यजनक है कि बैंकों के वरिष्ठ अधिकारियों तक को भी इसकी भनक नहीं लगती।

 

 

कई बैंकिंग घोटाले आए सामने
बता दें कि हाल ही में कमजोर बैंकिंग सिस्टम के कारण कई सारे घोटाले उजागर हुए है। इनमे सबसे बड़ा घोटाला पंजाब नेशनल बैंक में हुआ था। घोटाले के आरोपी मुख्य आरोपी नीरव मोदी और मेहुल चोकसी ने बैंक को करीब 13000 करोड़ का चूना लगाया था। फर्जी लेटर ऑफ अंडरटेकिंग (LOUS) के जरिए इस पूरे फ्रॉड को अंजाम दिया गया था। इस घोटाले का खुलासा तब हुआ, जब PNB के भ्रष्ट अधिकारी-कर्मचारी रिटायर हो गए और नीरव मोदी की कंपनी ने जनवरी में दोबारा से LOU जारी करने की सिफारिश की। घोटाले के खुलासे के बाद डायमंड किंग नीरव मोदी और गीतांजलि जेम्स के प्रमोटर मेहुल चौकसी के खिलाफ सीबीआई ने एफआईआर दर्ज की थी। 

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