यात्रीगण ध्यान दें..मुगलसराय स्टेशन का नाम अब पंडित दीनदयाल हुआ

यात्रीगण ध्यान दें..मुगलसराय स्टेशन का नाम अब पंडित दीनदयाल हुआ

Bhaskar Hindi
Update: 2017-10-14 12:19 GMT
यात्रीगण ध्यान दें..मुगलसराय स्टेशन का नाम अब पंडित दीनदयाल हुआ

डिजिटल डेस्क, लखनऊ। यूपी का मुगलसराय रेलवे स्टेशन अब पंडित दीन दयाल उपाध्याय रेलवे स्टेशन के नाम से जाना जाएगा। दिल्ली-हावड़ा रेलवे मार्ग के इस प्रमुख रेलवे स्टेशन का नाम पंडित दीन दयाल उपाध्याय के नाम पर करने का प्रस्ताव यूपी सरकार ने केन्द्र को भेजा था, जिसे केन्द्र ने पास कर दिया है। बता दें कि जनसंघ के नेता पंडित दीन दयाल इसी रेलवे स्टेशन पर 1968 में मृत पाए गए थे।

मुगलसराय स्टेशन का निर्माण तब हुआ था जब भारत ब्रिटेन के अधीन था। 1862 में ब्रिटिश सरकार हावड़ा और दिल्ली को रेल मार्ग से जोड़ रही थी। इसी दौरान इस स्टेशन का निर्माण किया गया था। तभी से यह मुगलसराय रेलवे स्टेशन के नाम से जाना जाता है। यूपी में योगी आदित्यनाथ की सरकार बनने के बाद इसका नाम बदलने की सिफारिशें शुरू हुई। यूपी कैबिनेट ने 6 जून को मुगलसराय रेलवे स्टेशन का नाम दीनदयाल उपाध्याय करने का फैसला किया और इसे केन्द्रीय रेल मंत्रालय के पास भेजा।

मुगलसराय स्टेशन के नाम बदलने को लेकर बीजेपी और कांग्रेस में विवाद भी हुआ था। कांग्रेस ने इसे ध्रुवीकरण की राजनीति करार दिया था। वहीं बीजेपी का कहना था कि क्या सभी चीजों के नाम सिर्फ नेहरू-गांधी के नाम पर रहेंगे? बहुत सारे लोगों ने देश के लिए बलिदान किया है। कांग्रेस चाहती थी कि स्टेशन का नाम पूर्व प्रधानमंत्री लाल बहादुर शास्त्री के नाम पर रखा जाए क्योंकि यह उनकी जन्मस्थली है।

गौरतलब है कि इससे पहले केन्द्र सरकार ने हरियाणा के गुड़गांव का नाम गुरुगांव करने का प्रस्ताव भी पास किया था। वहीं दिल्ली में औरंगजेब रोड का नाम एपीजे अब्दुल कलाम के नाम पर कर दिया गया था। इसी कड़ी में महाराष्ट्र के औरंगाबाद जिले का नाम बदलने की भी मांग की गई थी। शिवसेना नेता उद्धव ठाकरे ने यह मांग की थी। इस मांग का राज्य की बीजेपी सरकार ने भी समर्थन दिया है। उद्धव ठाकरे ने औरंगाबाद का नाम बदलकर संभाजी नगर करने की मांग की थी।

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