बेंगलुरु : इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ साइंस में धमाका, एक रिसर्चर की मौत, तीन घायल

बेंगलुरु : इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ साइंस में धमाका, एक रिसर्चर की मौत, तीन घायल

Bhaskar Hindi
Update: 2018-12-05 14:22 GMT
बेंगलुरु : इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ साइंस में धमाका, एक रिसर्चर की मौत, तीन घायल
हाईलाइट
  • इस धमाके में 32 साल के रिसर्चर मनोज कुमार की मौत हो गई जबकि तीन लोग गंभीर रूप से घायल हो गए।
  • बेंगलुरु के इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ साइंस (IISC) के एयरोस्पेस लैब में बुधवार को एक धमाका हुआ।
  • हाइड्रोजन सिलेंडर के फटने से ये धमाका हुआ है।

डिजिटल डेस्क, बेंगलुरु। बेंगलुरु के इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ साइंस (IISC) के एयरोस्पेस लैब में बुधवार को एक जोरदार धमाका हुआ। इस धमाके में 32 साल के रिसर्चर मनोज कुमार की मौत हो गई जबकि तीन लोग गंभीर रूप से घायल हो गए। बताया जा रहा है कि हाइड्रोजन सिलेंडर के फटने से ये धमाका हुआ।

सिक्योरिटी इंचार्ज चंद्रशेखर ने बताया कि एयरोस्पेस लैब में दोपहर करीब 2 बजकर 20 मिनट पर ये धमाका हुआ। ये धमाका इतना तेजा था कि रिसर्चर मनोज कुमार करीब 20 फीट दूर जा गिरे और उनकी मौके पर ही मौत हो गई। धमाके में घायल तीन अन्य रिसर्चर को अस्पताल में भर्ती कराया गया है। धमाके में घायल हुए रिसर्चर का नाम अतुल्य उदय कुमार, नरेश कुमार और कार्तिक शिनॉय है। तीनों को कई जगहों पर फैक्चर और बर्न इंजूरी आई हैं। चंद्रशेखर ने कहा, ये पहली बार है जब IISC में इस तरह की कोई घटना हुई हो।

असिस्टेंट कमिश्नर ऑफ पुलिस निरंजन राज ने कहा कि फॉरेंसिक एक्सपर्ट धमाके के कारणों की जांच कर रहे हैं। उन्होंने कहा, प्रारंभिक जांच में सामने आया है कि हाइड्रोजन सिलेंडर के फटने से ये धमाका हुआ है। हादसे के शिकार हुए सभी चार रिसर्चर सुपर-वेव टेक्नोलॉजी प्राइवेट लिमिटेड के लिए काम करते थे। ये कंपनी शॉकवेव और उसके एप्लिकेशन को लेकर रिसर्च करती है।

एयरोस्पेस इंजीनियरिंग विभाग के प्रमुख प्रोफेसर जी जगदीश ने कहा कि रिसर्च प्रोजेक्ट के तहत शॉक वेव (क्षोभ तरंगें) बनाने का काम चल रहा था। इसी दौरान ये धमाका हुआ। बता दें कि ऐरोस्पेस इंजिनियरिंग डिपार्टमेंट के प्रोफेसर केपीजे रेड्डी और जी जगदीश के निर्देशन में यह प्रोजेक्ट चल रहा था। 

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