महाराष्ट्र में मुख्यमंत्री बदलने के संकेत, उपमुख्यमंत्री का अचानक दिल्ली दौरे से अटकलें तेज

राजनीति महाराष्ट्र में मुख्यमंत्री बदलने के संकेत, उपमुख्यमंत्री का अचानक दिल्ली दौरे से अटकलें तेज

Anita Peddulwar
Update: 2022-12-24 13:34 GMT
महाराष्ट्र में मुख्यमंत्री बदलने के संकेत, उपमुख्यमंत्री का अचानक दिल्ली दौरे से अटकलें तेज
हाईलाइट
  • भूखंड वितरण के मुद्दे पर इस्तीफे का मांग

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली । महाराष्ट्र में शिवसेना में दरार पड़ने की घटना जैसे राजनीतिक भूकंप की आशंका है, लेकिन यह किसी पार्टी में दरार नहीं, बल्कि मुख्यमंत्री की कुर्सी बदलने को लेकर गतिविधि से संबंधित है। नागपुर में शीतकालीन सत्र के दूसरे दिन भूखंड वितरण के मुद्दे पर मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के इस्तीफे की मांग तेज हुई और उपमुख्यमंत्री देवेन्द्र फडणवीस का शुक्रवार को अचानक दिल्ली दौरा भी इसी मुद्दे से संबंधित माना जा रहा है। हालांकि, सूत्र बताते है कि फडणवीस शाम को दिल्ली जरुर पहुंचे, लेकिन उन्हें गृहमंत्री अमित शाह और पार्टी अध्यक्ष का समय नहीं मिल पाने की वजह से उल्टे पांव फिर नागपुर लौटना पड़ा।
उपमुख्यमंत्री कार्यालय के सूत्रों ने उनके दौरे की पुष्टि करते हुए बताया कि उपमुख्यमंत्री देवेन्द्र फडणवीस दोपहर 1 बजे पुणे से चार्टर्ड विमान से दिल्ली के लिए रवाना हुए थे और शाम को दिल्ली पहुंचे, लेकिन और कुरदने के बाद वे बाद में यह भी बताते है कि उपमुख्यमंत्री दिल्ली पहुंचे ही नहीं। इससे यह अंदाजा लगाया जा सकता है कि उपमुख्यमंत्री अपने दौरे को गोपनीय रखने और मीडिया से कुछ कहने से बचना चाहते थे। सूत्रों ने हालांकि यह भी बताया कि शनिवार को मुंबई के भाजपा अध्यक्ष आशिष शेलार दिल्ली पहुंचने वाले है और संभवत वे पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्‌डा और गृहमंत्री अमित शाह से मुलाकात कर सकते है। शेलार के मुलाकात के बाद स्थिति और भी स्पष्ट हो जाएगी कि राज्य में कुर्सी बदलने को लेकर क्या गतिविधि चल रही है।
यह बताते चले कि नागपुर में शीतकालीन सत्र शुरु होने के पूर्व संध्या पर भाजपा प्रदेश अध्यक्ष चंद्रशेखर बावनकुले ने सार्वजनिक रुप से यह इच्छा जताई थी कि मेरे अध्यक्ष रहते हुए फडणवीस मुख्यमंत्री की बागडोर संभाले। इसी दिन शाम को सरकार द्वारा आयोजित पत्रकार परिषद में सवाल-जवाब के दौरान सुपर मुख्यमंत्री कौन है इसका भी संकेत मिल गया था। जब सत्र के दूसरे दिन एनआईटी भूखंड के मामले में विपक्ष ने पुरजोर तरीके से मुख्यमंत्री के त्यागपत्र की मांग की, तो यह मुख्यमंत्री के लिए भी एक तरह से बहुत बड़ा झटका था। इन सभी गतिविधियों को देखते हुए प्रदेश में मुख्यमंत्री के बदलाव संकेत नजर आ रहे है और फडणवीस का अचानक दिल्ली दौरा भी इसी से संबंधित माना जा रहा है।  


 

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