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दैनिक भास्कर हिंदी: दंतेवाड़ा : मीलों का सफर कर लौटे 939 श्रमिकों को मिला काम,हुए घर आबाद

डिजिटल डेस्क दंतेवाड़ा | विभिन्न कार्यों में लगे 724 श्रमिकों को अब तक 7.26 लाख रूपए मजदूरी भुगतान दंतेवाड़ा, 09 जुलाई 2020 वैश्विक महामारी कोविड-19 के बीच छत्तीसगढ़ लौटे प्रवासी श्रमिकों की जिंदगी ने नई करवट लेना शुरू कर दिया है। शासन-प्रशासन द्वारा उनकी रोजी-रोटी की चिंता दूर करने अलग-अलग योजनाओं के तहत संचालित कार्यों में उन्हें रोजगार उपलब्ध कराया जा रहा है। साथ ही उनके हुनर की पहचान कर निजी क्षेत्र के नियोजकों से चर्चा कर उनकी रूचि के मुताबिक काम उपलब्ध कराने की पहल की जा रही है। देश के विभिन्न हिस्सों से दंतेवाड़ा लौटे 939 प्रवासी श्रमिकों को कलेक्टर श्री दीपक सोनी के मार्गदर्शन में जिला प्रशासन द्वारा स्थानीय स्तर पर रोजगार मुहैया कराया गया है। ग्राम पंचायतों में संचालित क्वारेंटाइन सेंटस में 14 दिन और घर पहुंचने पर दस दिनों का होम-क्वारेंटाइन पूरा कर चुके प्रवासी श्रमिकों को मनरेगा और प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के साथ ही लोक निर्माण, जल संसाधन एवं स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा संपादित किए जा रहे कार्यों में रोजगार दिया जा रहा है। दंतेवाड़ा जिले में मनरेगा के तहत 504 प्रवासी मजदूरों को काम दिया गया है। गीदम जनपद पंचायत में 156, दंतेवाड़ा में 75, कुआंकोण्डा में 111 और कटेकल्याण जनपद पंचायत में 162 लोगों को मनरेगा के अंतर्गत किए जा रहे, डबरी निर्माण एवं भूमि समतलीकरण कार्य में रोजगार उपलब्ध कराया गया है। जिले में स्कूलों की मरम्मत, साफ-सफाई और रंगाई-पुताई के काम में 367 प्रवासी श्रमिक लगे हुए हैं। प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के तहत 36 और लोक निर्माण विभाग द्वारा किए जा रहे सड़क निर्माण कार्यों में 10 मजदूर काम कर रहे हैं। जल संसाधन विभाग के नहर निर्माण कार्य में भी 13 प्रवासी मजदूरों को काम मिला हुआ है। बारसूर नगर पंचायत में चार श्रमिक भवन निर्माण के काम में लगे हुए हैं। साथ ही उद्योग विभाग में पाँच श्रमिक प्लास्टिक सामग्री का निर्माण कर रहे हैं। सभी श्रमिकों को 190 रूपए प्रतिदिन के मान से मजदूरी भुगतान किया जा रहा है। दंतेवाड़ा जिले में विभिन्न योजनाओं और विभागों में काम कर रहे 724 प्रवासी श्रमिकों को अब तक सात लाख 62 हजार 240 रूपए से अधिक का मजदूरी भुगतान किया जा चुका है। इससे इन्हें अपनी जिंदगी नए सिरे से शुरू करने में बड़ी मदद मिल रही है। स्कूलों में मरम्मत, साफ-सफाई व पुताई का काम कर रहे 367 प्रवासी श्रमिकों को एक लाख 88 हजार 610 रूपए का मजदूरी भुगतान किया गया है। प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के अंतर्गत 36 प्रवासी श्रमिकों को 96 हजार, दंतेवाड़ा जनपद पंचायत में मनरेगा कार्यों में लगे प्रवासी श्रमिकों को 56 हजार 810 रूपए, गीदम में 2 लाख 80 हजार 50 रूपए, कटेकल्याण में 94 हजार रूपए और कुआंकोण्डा में 62 हजार 320 रूपए का मजदूरी भुगतान किया गया है। बारसूर में भवन निर्माण कर रहे श्रमिकों को छह हजार रूपए, लोक निर्माण विभाग के निर्माण कार्य कर रहे श्रमिकों को 1400 रुपये और जल संसाधन विभाग के नहर निर्माण में काम कर रहे मजदूरों को 13 हजार रूपए की मजदूरी का भुगतान किया गया है। राज्य शासन द्वारा रोजी-रोटी के लिए उठाए जा रहे त्वरित कदमों से प्रदेश वापस लौटे श्रमिक बड़ी राहत महसूस कर रहे हैं। निजी क्षेत्र के नियोक्ताओं से भी चर्चा कर उनके कौशल और रूचि के अनुसार रोजगार उपलब्ध कराने की दिशा में गंभीर पहल की जा रही है। स.क्र./690/दानेश्वरी
भोपाल: आईसेक्ट द्वारा डॉ. सी.वी. रामन विश्वविद्यालय में आयोजित किया गया फैकल्टी डेवलपमेंट प्रोग्राम
डिजिटल डेस्क, भोपाल। आईसेक्ट द्वारा लर्निंग एंड डेवलपमेंट की पहल के तहत बिलासपुर छत्तीसगढ़ स्थित डॉ. सी.वी. रामन विश्वविद्यालय में "टीम बिल्डिंग, टाइम मैनेजमेंट और सॉफ्ट स्किल्स" विषय एक दिवसीय फैकल्टी डेवलपमेंट प्रोग्राम का आयोजन किया गया। आईसेक्ट भोपाल की कॉर्पोरेट एचआर टीम इस अवसर पर बिलासपुर में उपस्थित रही और श्रीमती पुष्पा कश्यप की अध्यक्षता में टीम एचआर, बिलासपुर ने कार्यक्रम का संचालन किया। इस इंटरैक्टिव सत्र में 80 से अधिक फैकल्टी सदस्यों ने अपनी पूरी भागीदारी के साथ भाग लिया। विशेषज्ञ प्रख्यात वक्ता श्रीमती गीतिका जोशी जो प्रबंधन और सॉफ्ट स्किल्स में एक कॉर्पोरेट ट्रेनर हैं, ने बात करते हुए टाइम मैनेजमेंट के कई टिप्स दिए और कार्यस्थल पर प्रोडक्टिव होने के तरीके बताए। श्री गौरव शुक्ला, डॉ. सीवीआरयू के रजिस्ट्रार और प्रो-वाइस चांसलर श्रीमती जयती मित्रा ने इस तरह के प्रशिक्षण के माध्यम से कर्मचारियों को अपस्किल करने में एलएंडडी/कॉर्पोरेट एचआर टीम के प्रयासों की सराहना की। उन्होंने कुछ अंतराल पर अपने तकनीकी और गैर-तकनीकी कर्मचारियों के लिए ऐसे कार्यक्रम आयोजित करने का भी प्रस्ताव रखा। सीवीआरयू बिलासपुर के चांसलर श्री संतोष चौबे, आईसेक्ट के निदेशक डॉ. सिद्धार्थ चतुर्वेदी और आईसेक्ट विश्वविद्यालय समूह की निदेशक श्रीमती अदिति चतुर्वेदी ने कार्यक्रम की सफलता पर टीम सीवीआरयू और कॉर्पोरेट एचआर/एल एंड डी को बधाई दी।
भोपाल: रबीन्द्रनाथ टैगोर विश्वविद्यालय में पांचवां वूमेन एक्सीलेंस अवॉर्ड
डिजिटल डेस्क, भोपाल। रबीन्द्रनाथ टैगोर विश्वविद्यालय के वूमेन डेवलपमेंट सेल द्वारा 5वां वूमेन एक्सिलेंस अवार्ड का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि सुश्री अनुभा श्रीवास्तव (आईएएस), कमिश्नर, हैंडलूम एंड हैंडीक्राफ्ट विभाग, मध्य प्रदेश , विशिष्ट अतिथि के रूप में डॉ रूबी खान, डायरेक्टर, डायरेक्टोरेट आफ हेल्थ सर्विसेज, सुश्री रवीशा मर्चेंट, प्रिंसिपल डिजाइनर, ट्रीवेरा डिजाइंस, बट ब्रहम प्रकाश पेठिया कुलपति आरएनटीयू उपस्थित थे। कार्यक्रम की अध्यक्षता डॉ. अदिति चतुर्वेदी वत्स, प्रो-चांसलर, आरएनटीयू एंड डायरेक्टर, आइसेक्ट ग्रुप आफ यूनिवर्सिटीज ने की।
इस अवसर पर सुश्री अनुभा श्रीवास्तव ने महिलाओं को अपनी बात रखने एवं निर्णय क्षमता को विकसित करने पर जोर दिया। महिलाओं को अपने व्यक्तिगत विकास की जिम्मेदारी लेने के लिए प्रेरित किया। उन्होंने महिला सशक्तिकरण पर भी अपने विचार साझा किए। डॉ. अदिति चतुर्वेदी वत्स ने कहा कि हम सभी जानते हैं कि हमारे जीवन में महिलाओं का एक अहं रोल होता है। चाहे वो रोल हमारी मां के रूप में हो या फिर बहन या पत्नी के रूप में। हमें हर रूप में महिला का साथ मिलता है। लेकिन ऐसा काफी कम होता है जब हम इन्हें इनके कार्य के लिए सम्मानित करते हैं। ऐसे में अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस हमें यह अवसर देता है कि हम अपने जीवन की महिलाओं को उनके कार्यों और उनके रोल के लिए सम्मानित करें। इसी तारतम्य में आरएनटीयू पांचवां वूमेन एक्सीलेंस अवॉर्ड से इन्हें सम्मानित कर रहा है।
डॉ रूबी खान ने महिलाओं के स्वास्थ्य संबंधी जानकारी एवं अपने स्वास्थ्य का ध्यान कैसे रखें इसकी जानकारी दी। वहीं सुश्री रवीशा मर्चेंट ने महिलाओं को आर्थिक रूप से सशक्त रहने एवं किसी भी परिस्थिति पर हार ना मानना एवं परिवार और काम में संतुलन बनाए रखने के विषय में विस्तृत जानकारी दी। डॉ ब्रम्ह प्रकाश पेठिया ने देश की बढ़ती जीडीपी में महिलाओं का अहम योगदान माना। उन्होंने बताया कि जल थल एवं हवाई सीमा में भी विशेष योगदान महिलाएं दे रही हैं।
कार्यक्रम में रायसेन और भोपाल जिले की शिक्षा के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य करने वाली महिलाओं को वूमेन एक्सीलेंस अवार्ड से नवाजा गया। साथ ही पूर्व में आयोजित विभिन्न प्रतियोगिताओं में विजेता महिलाओं को भी पुरस्कृत किया गया। कार्यक्रम के अंत में डॉ संगीता जौहरी, प्रति-कुलपति, आरएनटीयू ने सभी का आभार व्यक्त किया। कार्यक्रम का संयोजन एवं समन्वयन नर्सिंग एवं पैरामेडिकल विभाग की अधिष्ठाता एवं महिला विकास प्रकोष्ठ की अध्यक्ष डॉ मनीषा गुप्ता द्वारा किया गया। मंच का संचालन डॉ रुचि मिश्रा तिवारी ने किया।
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