रात में जब बच्चे रोते हैं तो इसकी वजह भूख हो सकती है। उसे शांत करने के लिए मां दूध पिलाती है, लेकिन हर रात अगर यही पैटर्न फॉलो किया गया तो बच्चे को इसकी आदत लग जाएगी।
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रात में बच्चा जागता है बार-बार तो हो सकते हैं ये कारण

डिजिटल डेस्क, भोपाल। न्यू पैरेंट्स की सबसे बड़ी समस्या होती है नींद की कमी। दरअसल बच्चों की नींद का समय और बड़ों की नींद का समय अलग-अलग होता है। ऐसे में बच्चे के घर आते ही घर के बड़ों की नींद उड़ जाती है खास कर पैरेंट्स की। बच्चे अक्सर रात-रात में जाग जाते है और सुलाने मां-बाप की नींद उड़ जाती है। सभी पैरेंट्स इस स्थिति से गुजरते हैं, लेकिन कभी सोचा है कि क्यों बच्चे रात को बार-बार उठ जाते हैं? वैसे तो नवजात बच्चों को यूं रात में अचानक जाग जाना आम बात है, लेकिन हर रात अगर ऐसा हो तो आपको किसी स्पेशलिस्ट से इस बारे में बात करना चाहिए। आपके बच्चे के हर रात रोते हुए जागने की ये वजह भी हो सकती हैं।


फीडिंग पैटर्न में लाएं बदलाव
इस स्थिति को सुधारने के लिए बच्चे की मील और नर्सिंग के बीच अंतर को धीरे-धीरे बढ़ाना शुरू करें। इससे आपका बच्चा इस नए फीडिंग पैटर्न के मुताबिक ढलने लगेगा और रात में उसकी नींद नहीं खुलेगी।

बच्चे के हर रात उठने की वजह उसके स्वास्थ्य से संबंधित भी हो सकती है। अगर बच्चा खांसते हुए जाग जाता है तो यह अस्थमा का लक्षण हो सकता है। पेट में मरोड़ होना या गैस भी उसके रोने और रात को जागने की वजह हो सकता है। ऐसे में बच्चे के बार-बार जाग जाने और रोने को इग्नोर न करें और उसे डॉक्टर के पास ले जाएं।

आपके बच्चे के रोज रात जाग जाने की एक वजह इनअप्रोप्रियेट स्लीप ऑनसेट असोसिएशन हो सकता है। यह वह स्थिति है जिसमें बच्चे की सोने से पहले और बाद की स्थिति में बदलाव आ जाता है। इस वजह से उसकी नींद खुल जाती है। उदाहरण के लिए, यदि आपने बच्चे को गोदी में सुलाया है और बाद में उसे बिस्तर पर सुला दिया तो वह ज्यादा देर तक नहीं सो पाएगा।
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Real Estate: खरीदना चाहते हैं अपने सपनों का घर तो रखे इन बातों का ध्यान, भास्कर प्रॉपर्टी करेगा मदद

डिजिटल डेस्क, जबलपुर। किसी के लिए भी प्रॉपर्टी खरीदना जीवन के महत्वपूर्ण कामों में से एक होता है। आप सारी जमा पूंजी और कर्ज लेकर अपने सपनों के घर को खरीदते हैं। इसलिए यह जरूरी है कि इसमें इतनी ही सावधानी बरती जाय जिससे कि आपकी मेहनत की कमाई को कोई चट ना कर सके। प्रॉपर्टी की कोई भी डील करने से पहले पूरा रिसर्च वर्क होना चाहिए। हर कागजात को सावधानी से चेक करने के बाद ही डील पर आगे बढ़ना चाहिए। हालांकि कई बार हमें मालूम नहीं होता कि सही और सटीक जानकारी कहा से मिलेगी। इसमें bhaskarproperty.com आपकी मदद कर सकता है।
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ध्यान रखें की प्रॉपर्टी RERA अप्रूव्ड हो
कोई भी प्रॉपर्टी खरीदने से पहले इस बात का ध्यान रखे कि वो भारतीय रियल एस्टेट इंडस्ट्री के रेगुलेटर RERA से अप्रूव्ड हो। रियल एस्टेट रेगुलेशन एंड डेवेलपमेंट एक्ट, 2016 (RERA) को भारतीय संसद ने पास किया था। RERA का मकसद प्रॉपर्टी खरीदारों के हितों की रक्षा करना और रियल एस्टेट सेक्टर में निवेश को बढ़ावा देना है। राज्य सभा ने RERA को 10 मार्च और लोकसभा ने 15 मार्च, 2016 को किया था। 1 मई, 2016 को यह लागू हो गया। 92 में से 59 सेक्शंस 1 मई, 2016 और बाकी 1 मई, 2017 को अस्तित्व में आए। 6 महीने के भीतर केंद्र व राज्य सरकारों को अपने नियमों को केंद्रीय कानून के तहत नोटिफाई करना था।