एमसीयू: अपने भीतर के पत्रकार को जगाए रखें, जनसंपर्क अधिकारियों की प्रशिक्षण कार्यशाला में बोले कुलगुरु विजय मनोहर तिवारी

अपने भीतर के पत्रकार को जगाए रखें, जनसंपर्क अधिकारियों की प्रशिक्षण कार्यशाला में बोले कुलगुरु विजय मनोहर तिवारी
  • जनसंपर्क अधिकारियों की पांच दिवसीय प्रशिक्षण कार्यशाला का हुआ शुभारंभ
  • सरकार और समाज के बीच सेतु का कार्य करते हैं पीआरओ : प्रवीण दुबे
  • जनसंपर्क अधिकारियों का कार्य 24 घंटे का : गुरमीत सिंह वाधवा

डिजिटल डेस्क, भोपाल । माखनलाल चतुर्वेदी राष्ट्रीय पत्रकारिता एवं संचार विश्वविद्यालय में मध्यप्रदेश जनसंपर्क विभाग के नवीन सहायक जनसंपर्क अधिकारियों के लिए पांच दिवसीय प्रशिक्षण कार्यशाला का शुभारंभ गुरुवार को विश्वविद्यालय के कुलगुरु विजय मनोहर तिवारी, अपर संचालक गुरमीत सिंह वाधवा, उप संचालक अवनीश सोमकुंवर , ऋषभ जैन ने किया। इस अवसर पर कुलगुरु तिवारी ने कहा कि जनसंपर्क अधिकारियों में जन शब्द लगा है इसीलिए उन्हें जन का विशेष ध्यान रखना चाहिए । उन्होंने कहा कि पी आर ओ को लिखते समय अपने भीतर के पत्रकार को मरने नहीं देना चाहिए, उसे हमेशा जगाए रखना चाहिए।

कुलगुरु तिवारी ने कहा कि पीआरओ सीधे जनता से जुड़ेंगे तो जनता को अच्छा लगेगा। अच्छा लिखने की बात करते हुए उन्होंने कहा कि अच्छा लिखने का सामर्थ अच्छा पढ़ने से आता है इसलिए आपको खूब पढ़ना चाहिए ताकि अच्छा लिख सको। तिवारी ने कहा कि अगले 25 साल अतिमहत्वपूर्ण हैं । 2047 में जब आजादी के 100 साल पूरे होंगे तो इसमें आपका भी योगदान और भूमिका बहुत बड़ी होगी। कुलगुरु ने कहा कि जनसंपर्क अधिकारियों को अच्छी मंशा एवं नियत के साथ कार्य करना चाहिए । गांव में बहुत अच्छे अच्छे कार्य करने वाले,नवाचार करने वाले लोगों से, सरपंचों से मिलना चाहिए और उनकी कहानियों को लेखन के माध्यम से लोगों तक पहुंचाना चाहिए। शिक्षा, स्वास्थ्य, कृषि,उद्यान,इंफ्रास्ट्रक्चर आदि जनता से सीधे जुड़े विषय पर लेखन करने की बात करते हुए कुलगुरु ने कहा कि आप जिस भी जिले में जाएं उसके इतिहास, वहां की खूबियों के बारे में अवश्य जानकारी रखें।

जनसंपर्क विभाग के अपर संचालक गुरमीत सिंह वाधवा ने कहा कि जनसंपर्क अधिकारियों को रुटीन खबरों के अलावा यूनिक एवं हटके खबरें देने का प्रयास करना चाहिए। हमेशा सजग रहने की बात करते हुए उन्होंने कहा कि पीआरओ को सफल होना है तो मीडिया के साथ समन्वय बहुत जरुरी है। उन्होंने समाचार लेखन में सुधार की करते हुए कहा कि अखबारों की लीड और हेड लाइन को प्रतिदिन देखने और उनसे भी कुछ नया सीखने की बात कही।

वाधवा ने कहा कि सोशल मीडिया से पहले जनसंपर्क विभाग का काम सुबह 10 से शाम 6 तक का था, लेकिन आज के दौर में यह काम 24 घंटे का हो गया है। उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया के कारण आपको सावधानी और सतर्कता के साथ अपनी भूमिका निभाना है। वरिष्ठ पत्रकार प्रवीण दुबे ने कहा कि जनसंपर्क अधिकारी सरकार और समाज के बीच ब्रिज का काम करते हैं । वर्तमान युग सोशल मीडिया का है अत: पी. आर. ओ. भूमिका भी बदल गई है । पहले प्रचार प्रसार मुख्य कार्य था लेकिन आजकल क्राइसिस मैनेजमेंट जैसी जिम्मेदारी भी निभाना पड़ रहा है। दुबे ने नवीन जनसंपर्क अधिकारियों को केश स्टडी पढ़ने एवं सोशल मीडिया पर कुछ भी पोस्ट करते समय विशेष सतर्कता बरतने को कहा। शुभांरभ सत्र के बाद अगले सत्र में मध्यप्रदेश की भौगोलिक जानकारी, क्षेत्रफल, जनसंख्या विषय पर विषय विशेषज्ञ सी.के. शर्मा ने महत्वपूर्व जानकारी प्रदान की। वहीं कमलेश माहेश्वरी ने सोशल मीडिया प्रबंधन विषय पर अपने विचार व्यक्त किए। अंतिम सत्र में विषय विशेषज्ञ मनोज श्रीवास्तव ने कृषि विकास योजनाएं पर महत्वपूर्ण जानकारी प्रदान की।

शुभांरभ सत्र में जनसंपर्क विभाग के सभी एपीआरओ विश्वविद्यालय के कुलसचिव डॉ. अविनाश वाजपेयी, विवि.के विभिन्न विभागों के विभागाध्यक्ष डॉ.पवित्र श्रीवास्तव, डॉ.आरती सारंग, डॉ. राखी तिवारी, संबंध अध्ययन संस्थाएं निदेशक डॉ.आशीष जोशी, परीक्षा नियंत्रक डॉ.राजेश पाठक, सहायक कुलसचिव अनुराधा मालवीय, प्रोड्यूसर डॉ. मनोज पटेल, ट्विटर डॉ. गरिमा पटेल, प्रभारी निदेशक,प्रवेश डॉ. शलभ श्रीवास्तव,जनसंपर्क अधिकारी डॉ. अरुण कुमार खोबरे उपस्थित थे। प्रशिक्षण कार्यशाला का संचालन प्रभारी निदेशक प्रशिक्षण डॉ. जया सुरजानी ने किया एवं कुलसचिव डॉ.अविनाश वाजपेयी ने आभार ज्ञापित किया।

Created On :   19 Jun 2025 5:50 PM IST

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