MP News: बालाघाट में गुपचुप बाघ जलाने के मामले में डीएफओ अधर गुप्ता के खिलाफ चार्जशीट जारी

बालाघाट में गुपचुप बाघ जलाने के मामले में डीएफओ अधर गुप्ता के खिलाफ चार्जशीट जारी

भास्कर ब्यूरो, भोपाल। मप्र शासन ने बालाघाट में बाघ को गुपचुप जलाने के मामले में दक्षिण बालाघाट सामान्य वन मंडल के वर्तमान डीएफओ अधर गुप्ता के खिलाफ चार्जशीट जारी कर दी है। गुप्ता पर तीन अन्य आरोप भी चार्जशीट में लगाये गये हैं तथा इन सभी आरोपों का जवाब 15 दिन के अंदर मांगा गया है।

ये लगे आरोप :

वन्य जीव बाहुल्य क्षेत्र वन परिक्षेत्र लालबर्रा, के बीट अहियाटिकुर में वन्यजीवों की सुरक्षा हेतु समुचित प्रबंध नहीं किये गये, फलस्वरूप बाघ को बिना वरिष्ठ अधिकारियों के संज्ञान में लाये, गैर कानूनी तरीके से जलाया गया। बाघ के शव को गैरकानूनी तरीके से जलाने के मुख्य आरोपी वनपाल एवं सर्किल प्रभारी टिकाराम हनोते एवं वनरक्षक हिमांशु घोरमारे डीएफओ गुप्ता के समक्ष उपस्थित होने के उपरान्त भी फरार हो गये। डीएफओ द्वारा आरोपियों को पुलिस अभिरक्षा में रखने हेतु तत्काल किसी प्रकार की कोई कार्यवाही नहीं की गई जिससे आरोपी फरार होने में सफल हो गये।

गुप्ता दिनांक 9 अप्रैल 2022 से 30 सितम्बर 2024 तक अनुदेशक, रेंजर्स कॉलेज बालाघाट के पद पर पदस्थ रहे तथा इस दौरान उन्होंने न ही अध्यापन कार्य किया न ही सिलेबस तैयार किया। साथ ही प्रत्येक माह की 10 तारीख तक गत माह की दौरा-दैनंदिनी विलम्ब से प्रस्तुत कर कर्तव्य के प्रति लापरवाही बरतते हुए शासन निर्देशों की घोर अवहेलना की गई।

गुप्ता इसके बाद दिनांक 4 नवम्बर 2023 से 3 अक्टूबर 2024 तक डीएफओ उत्तर बालाघाट (उत्पादन) के अतिरिक्त प्रभार में पदस्थ रहे तथा इस दौरान झुन्ना लाल व पनकू जी द्वारा वन परिक्षेत्र उत्तर लामता उत्पादन में वित्तीय वर्ष 2021-22 में काटी गई बांस का लाभांश राशि रूपये 1 लाख 2 हजार 967 रुपये का भुगतान लंबित था। गुप्ता ने देयक भुगतान हेतु समय से वनमण्डलाधिकारी, दक्षिण बालाघाट (सा.) वनमण्डल को प्रेषित नहीं किया गया, जिससे उक्त प्रकरण समाधान ऑनलाईन में दर्ज होने के पश्चात सीएम की समीक्षा बैठक में निर्देश पर भुगतान दिनांक 26 अगस्त 2025 को किया गया।

उल्लेखनीय है कि अधर गुप्ता की पत्नी नेहा श्रीवास्तव भी बालाघाट उत्तर सामान्य वनमंडल की डीएफओ हैं तथा उन्होंने वहां की कांग्रेस विधायक अनुभा मुंजारे के खिलफ वन बल प्रमुख को दो-तीन पेटी रकम मांगने की शिकायत की थी। जिस पर एपीसीसीएफ कमलिका मोहन्ता की अध्यक्षता में दो सदस्यीय उच्च स्तरीय जांच कमेटी गठित की गई और जांच समिति को 2 सप्ताह में जांच पूर्ण कर प्रतिवेदन राज्य शासन को उपलब्ध कराने लिये कहा गया था लेकिन इस कमेटी ने अभी तक अपनी जांच रिपोर्ट नहीं सौंपी है।

Created On :   17 Oct 2025 4:15 PM IST

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