शिवसेना के किसी भी गुट को नहीं दी शिवाजी पार्क में दशहरा रैली की इजाजत

मुंबई मनपा शिवसेना के किसी भी गुट को नहीं दी शिवाजी पार्क में दशहरा रैली की इजाजत

Tejinder Singh
Update: 2022-09-22 15:19 GMT
शिवसेना के किसी भी गुट को नहीं दी शिवाजी पार्क में दशहरा रैली की इजाजत

ठाकरे व शिंदे गुट में भिडंत से कानून-व्यवस्था को खतरा
हाईकोर्ट में दोनों गुटों की याचिका पर सुनवाई 

डिजिटल डेस्क, मुंबई। महानगरपालिका ने शिवसेना के किसी भी गुट (ठाकरे व शिंदे गुट) को शिवाजी पार्क में पांच अक्टूबर 2022 को दशहरे की रैली के आयोजन की अनुमति देने से मना कर दिया है। मनपा की ओर से जारी आदेश में कहा गया है कि पुलिस की राय के मुताबिक शिवसेना के ठाकरे व शिंदे गुट दोनों ने शिवाजी पार्क में पांच अक्टूबर को रैली की अनुमति मांगी थी। लेकिन परस्पर विरोधी दोनों गुटों के बीच भिडंत होने की आशंका के मद्देनजर इलाके की कानून व्यवस्था बिगड़ सकती है। इसलिए अनुमति से जुड़े आवेदन को अस्वीकार किया जाता है। इसके बाद शिवाजी पार्क में दशहरा रैली के आयोजन को लेकर पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे गुटवाली शिवसेना व मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे की अगुवाई वाली शिवसेना अब बांबे हाईकोर्ट में आमने सामने आ गए है। हाईकोर्ट ने शुक्रवार को इस मुद्दे से जुड़ी याचिका पर सुनवाई रखी है। 

उद्धव ठाकरे गुटवाली शिवसेना ने 5 अक्टूबर को दशहरा रैली के आयोजन की अनुमति के आवेदन पर मुंबई महानगरपालिका को निर्णय लेने का निर्देश देने की मांग को लेकर बुधवार को याचिका दायर की है।

 गुरुवार को न्यायमूर्ति आरडी धानुका व न्यायमूर्ति कमल खाता की खंडपीठ के सामने यह याचिका सुनवाई के लिए आयी। इस दौरान उद्धव गुट की ओर से पैरवी कर रहे वरिष्ठ अधिवक्ता आस्पी चिनाय ने खंडपीठ को मनपा की ओर से रैली की अनुमति को लेकर लिए गए फैसले की जानकारी दी। इसके बाद खंडपीठ ने अधिवक्ता चिनाय को अपनी याचिका में संसोधन कर मनपा के फैसले को चुनौती देने की अनुमति दे दी। उन्होंने कहा कि मनपा ने रैली की अनुमति न देने के पिछे संभावित कानून-व्यवस्था के खराब होने से जुड़े खतरे का हवाला दिया है। क्योंकि शिंदे गुट भी शिवाजीपार्क में दशहरा रैली करना चाहता है। उद्धव गुट की ओर से शिवसेना के सचिव अनिल देसाई ने कोर्ट में याचिका दायर की है। 

शिंदे गुट की ओर से विधायक सदा सरवण ने दायर किया आवेदन

इस बीच इस मामले में हस्तक्षेप करने की मांग को लेकर शिंदे गुट के विधायक सदा सरवणकर ने आवेदन दायर किया। इसके साथ ही उन्होंने ठाकरे गुट की ओर से दायर याचिका का विरोध भी किया। 

विधायक सरवण ने अपने आवेदन में दावा किया है कि असली शिवसेना कौन है। इससे जुड़ा मुद्दा सुप्रीम कोर्ट व चुनाव आयोग के पास में प्रलंबित है। इसलिए हाईकोर्ट इस मामले की सुनवाई न करें। आवेदन में सरवण ने कहा है कि मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे असली शिवसेना के मुख्यनेता है। उनके पास पार्टी के अधिकांशतह सदस्यों का समर्थन है। खंडपीठ ने फिलहाल ठाकरे गुट को याचिका में बदलाव करने की अनुमति दी है और याचिका पर शुक्रवार को सुनवाई रखी है। इससे पहले मनपा ने अधिवक्ता चिनाय की ओर से याचिका में संसोधन करने की मांग का विरोध किया।

 

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