महज 24 इंच बारिश में ही छलनी हो गईं शहर की सड़कें

करोड़ से बढ़कर अरबों पहुँच गई राजस्व की आय पर नहीं बदले हालात, सड़कों पर धूल फाँकने को मजबूर हैं लोग महज 24 इंच बारिश में ही छलनी हो गईं शहर की सड़कें

Bhaskar Hindi
Update: 2021-09-24 09:34 GMT
महज 24 इंच बारिश में ही छलनी हो गईं शहर की सड़कें

डिजिटल डेस्क जबलपुर । मानसून के खत्म होने तक सड़कों की सेहत बिगडऩा लाजिमी है इससे कोई इनकार नहीं किया जा सकता लेकिन जब बारिश औसत न हुई हो और पूरा मानसून सूखे सा बीता हो उस साल भी सड़क चलने लायक न रहे तो समझा जा सकता है कि खराबी कहाँ पर है। इस साल ऐसा ही हुआ है, मानसून में अब तक मात्र 24 इंच बारिश हुई पर सड़क की हालत दयनीय है। कई हिस्सों पर तो सड़कों की हालत शर्मनाक स्थितियों में है और इन सड़कों पर चलते वक्त आदमी कराह उठता है और हर पल वह नगर निगम के निकम्मेपन को कोसता है। एक दशक पहले जब राजस्व कुछ करोड़ एकत्रित होता था तब भी सड़क इसी हालत में थी और अब जब दो अरब के करीब राजस्व नगर निगम के कोष में जमा होता है तब भी यही स्थिति है। बारिश के इस सीजन में पूर्व, पश्चिमी, उत्तर मध्य या केण्ट किसी भी हिस्से में चले जाइए एक सलीके की सड़क सही सलामत हालत में नजर नहीं आएगी। हर तरफ सूखे मौसम में धूल और गड्ढे हैं  और सड़कों की हालत पस्त है। इन पर लोग धूल फाँकने मजबूर हंै। 
...और ऐसे निकाल दिया जाता है वक्त 
नगर निगम के अधिकारी हमेशा कहते हैं कि बारिश के बाद अक्टूबर, नवंबर में सुधार होगा। कहीं-कहीं इन माहों में कुछ थिगड़े लगा दिए जाते हैं। इसके बाद कहा जाता है कि बस सड़क बनने वाली है टेण्डर प्रक्रिया चल रही है। यह टेण्डर प्रक्रिया गर्मी तक पूरी होती है और निर्माण मई-जून में किया जाता है। नया मानसून कुछ इलाकों में बनी सड़क पर भारी पड़ता है और बहाना मिल जाता है कि बारिश ज्यादा होने से सड़क खराब हुई है। इस तरह के रवैए के चलते सालों से शहर के नागरिक अच्छी और उम्दा सड़कों को तरस रहे हैं। गुणवत्ताहीन घटिया निर्माण को मानसून का सहारा हर बार मिल जाता है। 
ऐसे स्मार्ट वर्क ने भी निराश कर दिया
शहर में स्मार्ट सिटी योजना के तहत गोल बाजार, राइट टाउन स्टेडियम, ब्लूम चौक, होम साइंस से मदन महल, तीन पत्ती से गौ-माता चौक, हवाघर से गेट नंबर चार, होम साइंस कॉलेज से एमएलबी आदि एक दर्जन के करीब सड़कों को बनाया जा रहा है। इन सड़कों के निर्माण की जो समय सीमा थी, वह कब की निकल गई पर आज तक ये निर्माण पूरे नहीं हो सके। ऐसे स्मार्ट वर्क ने भी शहर वासियों को निराश किया और बड़े बजट के बाद भी  बदतर सड़कों से निजात नहीं मिल सकी। अभी खस्ताहाल सड़कों को लेकर नगर निगम ईई आरके गुप्ता कहते हैं कि इनमें जल्द सुधार होगा। जिन सड़कों पर सुधार होना है उनकी प्रक्रिया आरंभ कर दी गई है।
पानी का किया जाए छिड़काव
रानीताल गढ़ा मार्ग पर जहाँ फ्लाई ओवर के लिए रैम्प का निर्माण किया जा रहा है, उससे दूसरे वाले हिस्से की  सड़क पर गड्ढे और धूल से लोग परेशान हैं। क्षेत्र के नागरिकों और व्यापारियों का कहना है कि इस मार्ग से भारी वाहनों के प्रवेश को रोका जाना चाहिए, साथ ही यहाँ दिन के समय बारिश न होने पर पानी का छिड़काव किया जाए ताकि क्षेत्र के व्यापारियों और लोगों को उड़ती धूल से कुछ राहत मिल सके।
सड़कों को धूल रहित बनाने निर्देश
शहर में स्वच्छता का हाल जाँचने निगमायुक्त द्वारा प्रतिदिन साइकिल से भ्रमण किया जा रहा है। गुरुवार को उन्होंने रामपुर सहित अन्य क्षेत्रों का निरीक्षण किया और कर्मचारियों को निर्देश दिए कि सड़कों को धूल रहित किया जाए। इसके साथ ही फुटपाथों के कब्जे हटाने और उन्हें साफ-सुथरा रखने के आदेश भी दिए।

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